रांची: बिजली बोर्ड के पूर्व चेयरमैन विजय नारायण पांडेय की संपत्ति की जांच एक बार फिर से निगरानी ने शुरू की है. केस के अनुसंधानक ने कुछ दिन पहले विजय नारायण पांडेय द्वारा अजिर्त संपत्ति की जांच कर अपनी रिपोर्ट निगरानी के वरीय अफसरों को सौंपी थी.
जांच में केस के अनुसंधानक ने पाया था कि पूर्व चेयरमैन पर आय से अधिक संपत्ति अजिर्त करने का जो आरोप है, वह सही नहीं है. लेकिन निगरानी के सीनियर अधिकारियों ने रिपोर्ट को खारिज कर दिया. इस पर कहा गया कि विजय नारायण पांडेय चेयरमैन बनने से पहले जहां पदस्थापित है, उस कार्यकाल की जांच की जाये.
इस पर केस के अनुसंधानक ने तर्क दिया कि चेयरमैन बनने से पूर्व विजय नारायण पांडेय एनटीपीसी में पदस्थापित थे, लेकिन चेयरमैन बनने से पहले उन्होंने जो संपत्ति अजिर्त की है, उसकी जांच सीबीआइ से करायी जा सकती है, क्योंकि एनटीपीसी केंद्र सरकार का उपक्रम है. लेकिन निगरानी के वरीय अधिकारियों ने तर्क दिया कि आय से अधिक संपत्ति अजिर्त करने का केस निगरानी में दर्ज है. उल्लेखनीय है विजय नारायण पांडेय के खिलाफ निगरानी थाना में कांड संख्या 39/10 के अंतर्गत मामला दर्ज है, जिसकी जांच वर्तमान में जारी है. केस में पूर्व में एक अनुसंधानक डीएसपी ने सेवानिवृत्ति से कुछ दिन पहले उन्हें जांच में क्लीन चीट दे दी थी. लेकिन तब भी जांच रिपोर्ट अस्वीकार कर दी गयी थी.