रांची : रांची जिले में गैरमजरूआ जमीन की धड़ल्ले से बेची और खरीदी गयी है. अब प्रशासन इसके खिलाफ कार्रवाई करने का फैसला लिया है. उपायुक्त राय महिमापत रे ने भू-राजस्व विभाग के आदेश के बाद रांची के नगड़ी अंचल के 153 लोगों को नोटिस जारी किया है. इनमें वैसे लोग शामिल हैं, जिन्होंने गैरमजरूआ जमीन खरीदी है. इस संबंध में प्रशासन की ओर से अखबार में भी नोटिस प्रेषित कर दी गयी है.
जारी नोटिस के जरिये आदेश दिया गया है कि जिन लोगों को नोटिस मिले हैं वे 15 दिनों के अंदर जमीन से संबंधित दस्तावेज प्रस्तुत करें. निर्धारित समय तक दस्तावेज प्रस्तुत नहीं किये जाने पर उनकी जमाबंदी रद्द कर दी जायेगी.
यह सारी जमीन पुंदाग मौजा के थाना संख्या 228, खाता संख्या 383 की हैं. लोगों को नोटिस नगड़ी के अंचलाधिकारी के न्यायालय द्वारा जारी किया गया है.
दस्तावेजों की होगी जांच : नोटिस जारी करने के बाद जिला प्रशासन द्वारा लोगों के दस्तावेजों की गहनता से जांच की जायेगी. जांच में यह पता लगाया जायेगा कि गैरमजरूआ जमीन की जमाबंदी किस नियम के तहत आमलोगों के नाम की गयी है. नियमों का पालन नहीं होने और पर्याप्त दस्तावेज नहीं होने पर जमाबंदी रद्द कर दी जायेगी.
क्या है मामला : रांची के विभिन्न इलाकों में सरकारी, आदिवासी व गैरमजरूआ जमीन के अवैध हस्तांतरण करने की शिकायत जिला प्रशासन को मिली थी. शिकायत के बाद कुछ अंचलों में जाकर अधिकारियों ने औचक निरीक्षण किया था. औचक निरीक्षण के दौरान जमीन के अवैध हस्तांतरण की बात सामने आयी थी. इसे गंभीरता से लेते हुए रांची के पूर्व उपायुक्त मनोज कुमार ने इसके जांच के आदेश दिये थे.
डीसी ने आयुक्त को भेज दी है रिपोर्ट : गैरमजरूआ जमीन के हस्तांतरण की जांच के दौरान पता चला कि हेहल मौजा में बड़े पैमाने पर गैरमजरूआ जमीन का हस्तांतरण किया गया है. जमीन का हस्तांतरण नियमों के खिलाफ किया गया है.
इस पूरी प्रक्रिया में किसी की अनुमति नहीं ली गयी थी. डीसी ने इस संबंध में जांच रिपोर्ट आयुक्त को भेज दी थी. रिपोर्ट के आधार पर आयुक्त ने जमाबंदी रद्द करने की सिफारिश भू-राजस्व विभाग से कर दी है.