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झारखंड : 186 में से 57 मदरसे के शिक्षकों को ही मिलेगा वेतन, मिलनेवाली राशि में 16 करोड़ की कमी
रांची : राज्य के 186 अराजकीय मदरसे में से 57 मदरसे के शिक्षकों के वेतन के लिए ही राशि निर्गत की जायेगी. स्कूली शिक्षा व साक्षरता विभाग द्वारा करायी गयी जांच में 57 मदरसे ही मान्यता की शर्त को पूरा करते पाये गये. शेष मदरसे के शिक्षकों के वेतन के लिए फिलहाल राशि निर्गत नहीं […]
रांची : राज्य के 186 अराजकीय मदरसे में से 57 मदरसे के शिक्षकों के वेतन के लिए ही राशि निर्गत की जायेगी. स्कूली शिक्षा व साक्षरता विभाग द्वारा करायी गयी जांच में 57 मदरसे ही मान्यता की शर्त को पूरा करते पाये गये.
शेष मदरसे के शिक्षकों के वेतन के लिए फिलहाल राशि निर्गत नहीं की जायेगी. वित्तीय वर्ष 2017-18 में मदरसा शिक्षकों के वेतन के लिए लगभग 16 करोड़ आवंटित करने की प्रक्रिया चल रही है, जबकि पहले शिक्षकों के वेतन पर लगभग 32 करोड़ प्रति वर्ष खर्च होता था. जांच में संताल परगना प्रमंडल के 77 मदरसे जमीन के मापदंड को पूरा नहीं कर सके.
मदरसा की मान्यता के लिए यह आवश्यक है कि जमीन मदरसा के नाम से निबंधित हो. मदरसा के नाम से जमीन निबंधित नहीं होने के कारण शिक्षकों को वेतन के लिए राशि नहीं दी जायेगी. जांच में 52 मदरसे ऐसे पाये गये, जो वर्षों से बिना मान्यता की शर्त को पूरा किये हुए चल रहे थे.
इन मदरसों को वित्तीय सहायता नहीं दी जायेगी. इन मदरसों के संचालन पर फिलहाल अंतिम निर्णय नहीं लिया गया है. उल्लेखनीय है कि जांच प्रक्रिया पूरी नहीं होने के कारण मदरसा के शिक्षकों को वित्तीय वर्ष 2017-18 में अब तक वेतन नहीं मिला है. मदरसा शिक्षक वेतन भुगतान को लेकर आंदोलन कर रहे हैं.
जैक ने की रिपाेर्ट की समीक्षा : उपायुक्त से मिली जांच रिपोर्ट को स्कूली शिक्षा व साक्षरता विभाग ने झारखंड एकेडमिक काउंसिल को भेज दिया. झारखंड एकेडमिक काउंसिल ने मदरसा की मान्यता को लेकर तय शर्त के आधार पर रिपोर्ट की समीक्षा की. इस अाधार पर स्कूली शिक्षा व साक्षरता विभाग ने मान्यता की शर्त को पूरा करनेवाले मदररसा के शिक्षकों को वेतन भुगतान करने का निर्णय लिया है.
शिक्षा मंत्री के आदेश पर हुई जांच
शिक्षा मंत्री डॉ नीरा यादव के निर्देश पर जुलाई में माध्यमिक शिक्षा निदेशालय ने सभी उपायुक्त से एक सप्ताह में जिले के सभी अराजकीय मदरसों का भौतिक सत्यापन कर रिपोर्ट देने को कहा था. इस क्रम में इस बात पर ध्यान देने के लिए कहा गया था कि संस्थान द्वारा तय मानक का पालन किया जा रहा है अथवा नहीं. जांच टीम में अनुमंडल स्तर से नीचे के पदाधिकारी को शामिल नहीं करने के लिए कहा गया था.
संताल परगना प्रमंडल के वैसे मदरसे, जो मान्यता के लिए केवल भूमि की शर्त को पूरा नहीं कर पा रहे हैं, उन्हें एक और अवसर मिल सकता है. राज्य सरकार द्वारा संताल परगना प्रमंडल में मदरसा को मान्यता के लिए जमीन के निबंधन की शर्त में पूर्व में सरकार द्वारा छूट दी गयी थी. इस आधार पर मदरसों को एक और मौका दिया जायेगा.
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