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झारखंड : एलसीआर से लालू का मांगा रिकॉर्ड, अगली सुनवाई 23 को
सजा के खिलाफ दायर की है अपील याचिका, अगली सुनवाई 23 को होगी रांची : झारखंड हाइकोर्ट के जस्टिस अपरेश कुमार सिंह की अदालत में शुक्रवार को चारा घोटाला आरसी-68ए/96 मामले में राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद की अोर से दायर क्रिमिनल अपील याचिका पर सुनवाई हुई. अदालत ने प्रार्थी का पक्ष सुनने के बाद अपील […]
सजा के खिलाफ दायर की है अपील याचिका, अगली सुनवाई 23 को होगी
रांची : झारखंड हाइकोर्ट के जस्टिस अपरेश कुमार सिंह की अदालत में शुक्रवार को चारा घोटाला आरसी-68ए/96 मामले में राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद की अोर से दायर क्रिमिनल अपील याचिका पर सुनवाई हुई.
अदालत ने प्रार्थी का पक्ष सुनने के बाद अपील याचिका को सुनवाई के लिए स्वीकृत कर लिया. साथ ही निचली अदालत (एलसीआर) को केस से संबंधित रिकॉर्ड प्रस्तुत करने का निर्देश दिया. अदालत ने मामले की अगली सुनवाई के लिए 23 फरवरी की तिथि निर्धारित की. इससे पूर्व सुनवाई के दाैरान प्रार्थी की अोर से वरीय अधिवक्ता चितरंजन सिन्हा,अधिवक्ता प्रभात कुमार ने जमानत देने का आग्रह किया. जमानत के बिंदु पर 23 फरवरी को सुनवाई होगी. सीबीआइ की अोर से अधिवक्ता राजीव सिन्हा ने पक्ष रखा.
पिछली सुनवाई में भी मांगा था रिकॉर्ड
उल्लेखनीय है कि प्रार्थी लालू प्रसाद ने अपील याचिका दायर कर सीबीआइ की विशेष अदालत के फैसले को चुनाैती दी है. सीबीआइ के विशेष न्यायाधीश एसएस प्रसाद की अदालत ने 24 जनवरी को चारा घोटाले के आरसी-68ए/96 मामले में आरोपी पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद को दोषी पाने के बाद पांच साल की सजा सुनाई है. यह चारा घोटाले के चाईबासा ट्रेजरी से अवैध निकासी से संबंधित है.
चारा घोटाले (आरसी-64ए/96) के देवघर कोषागार से 89 लाख रुपये की अवैध निकासी मामले में सीबीआइ अदालत ने लालू प्रसाद को साढ़े तीन साल की सजा सुनायी है. पिछली सुनवाई के दाैरान हाइकोर्ट द्वारा निचली अदालत से केस रिकॉर्ड मांगा गया था, जो अब तक प्राप्त नहीं हो सका है. यह मामला शुक्रवार को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध नहीं था. उक्त मामले में भी प्रार्थी ने सजा के खिलाफ अपील याचिका दायर की है.
डाॅ मिश्र की अद्यतन मेडिकल रिपोर्ट प्रस्तुत करे रिम्स
रांची़ : हाइकोर्ट के जस्टिस अपरेश कुमार सिंह की अदालत में शुक्रवार को चारा घोटाला आरसी-68ए/96 मामले में बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री डाॅ जगन्नाथ मिश्र की ओर से दायर क्रिमिनल याचिका के तहत जमानत पर सुनवाई हुई. अदालत ने प्रार्थी की दलील सुनने के बाद रिम्स को डा जगन्नाथ मिश्र की अद्यतन मेडिकल रिपोर्ट प्रस्तुत करने का निर्देश दिया. प्रार्थी की अोर से अधिवक्ता इंद्रजीत सिन्हा ने अदालत को बताया कि गुड़गांव स्थित मेदांता हॉस्पिटल में उनका इलाज चल रह है. वे गंभीर रूप से बीमार हैं. उन्हें ब्लड कैंसर है. डाॅ मिश्र को कीमोथेरेपी दी जाती है. हॉस्पिटल के चिकित्सक ने इलाज के लिए 15 फरवरी की तिथि तय की है. इलाज कराने के लिए उन्हें मेदांता जाना है.
इसे देखते हुए उन्हें जमानत देने का आग्रह किया गया. इस पर अदालत ने कहा कि यह बेंच शुक्रवार को ही चारा घोटाला से संबंधित मामले की सुनवाई करती है. इसलिए मामले की विशेष सुनवाई के लिए प्रार्थी के अधिवक्ता एक्टिंग चीफ जस्टिस की अदालत से आग्रह कर सकते हैं. उल्लेखनीय है कि प्रार्थी डाॅ मिश्र ने अपील याचिका व जमानत के लिए आइए दायर की है. उन्होंने निचली अदालत के सजा संबंधी आदेश को चुनाैती देते हुए निरस्त करने की मांग की है. चाईबासा कोषागार से अवैध निकासी से संबंधित चारा घोटाले के आरसी- 68ए/96 में आरोपी डा जगन्नाथ मिश्र को दोषी पाकर सीबीआइ के विशेष न्यायाधीश एसएस प्रसाद की अदालत ने पांच साल की सजा सुनायी है.
तत्कालीन अवर सचिव सहित तीन की गवाही दर्ज
रांची़ चारा घोटाला (डोरंडा कोषागार से अवैध निकासी) मामले में लालू प्रसाद सहित अन्य आरोपी सीबीआइ के विशेष न्यायाधीश प्रदीप कुमार की कोर्ट में पेश हुए. मामले में सीबीआइ की अोर से वित्त विभाग के तत्कालीन अवर सचिव धनराज प्रसाद सहित तीन लोगों की गवाही दर्ज हुई.
धनराज प्रसाद की गवाही के दौरान लालू प्रसाद ने खुद क्रॉस एग्जामिन किया. उन्होंने धनराज प्रसाद से श्याम बिहारी सिन्हा पशुपालन विभाग,रांची के तत्कालीन क्षेत्रीय निदेशक के सेवा विस्तार से संबंधित प्रश्न पूछे. पूछा कि क्या कोई ऐसा भी प्रावधान है कि जनहित में किसी अधिकारी को सेवा विस्तार दिया जा सकता है? इस पर श्री प्रसाद ने कहा कि ऐसा प्रावधान सिर्फ तकनीकी अधिकारियों के लिए है. इससे पूर्व गवाही के दौरान धनराज प्रसाद ने श्याम बिहारी सिन्हा और पशुपालन विभाग के ऑफिस सुपरिटेंडेंट आरके दास के सेवा विस्तार से संबंधित दो फाइलों की पहचान की. उन्होंने बताया कि दोनों अधिकारियों का सेवा विस्तार नियम संगत नहीं था. इस बात को मैंने टिप्पणी के रूप में फाइल पर लिखा था. उन्होंने कहा कि दोनों अधिकारी सेवा विस्तार योग्य नहीं थे.
आज दूसरे गवाह पशुपालन विभाग के सहायक शैलेंद्र कुमार ने 14 फाइलों की पहचान की. इन फाइलों में विधान परिषद में विधान परिषद सदस्यों की ओर से पशुपालन विभाग में हुई अनियमितता के बारे में जिक्र है. तीसरे गवाह वित्त विभाग के रजिस्ट्रार चंद्र प्रकाश सहाय ने बजट संबंधी फाइलों का सत्यापन किया.
झारखंड : दुमका कोषागार मामले में आंशिक बहस
रांची : आरसी 38ए/96 (दुमका कोषागार से अवैध निकासी) मामले में सीबीआइ के विशेष न्यायाधीश शिवपाल सिंह की अदालत में लालू सहित अन्य आरोपियों की ओर से आंशिक बहस हुई.
रांची जिला बार एसोसिएशन के अधिवक्ता भरत महतो के निधन की वजह से शोक सभा आयोजित की गयी. इसके बाद अधिवक्ता दूसरी पाली में न्यायिक कार्यों में हिस्सा नहीं लिये. अदालत ने बहस के लिए अगली तिथि 12 फरवरी निर्धारित की है. दूसरी ओर पीएसी के तत्कालीन अध्यक्ष ध्रुव भगत उपस्थित हुए. उन्होंने अदालत से कहा कि डॉक्टर ने मेडिकल जांच की सलाह दी है. जांच के लिए बाहर जाना है.
इसलिए दो-चार दिन उपस्थिति से छूट दी जाये. अदालत ने अनुरोध को स्वीकार करते हुए छह दिनों तक उपस्थिति से छूट दी. एक अन्य आरोपी लाल मोहन प्रसाद अदालत में उपस्थित नहीं थे. न ही सुनवाई के दौरान उनके अधिवक्ता थे. अदालत ने उन्हें अगली तिथि में सशरीर उपस्थित होने का आदेश दिया.
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