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900 करोड़ का चारा घोटाला : 21 साल बाद लालू, जगन्नाथ समेत 22 लोगों पर फैसला आज, जानें केस की खास बातें

रांची : झारखंड की राजधानी रांची स्थिति केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) की विशेष अदालत के जज शिवपाल सिंह शनिवार को चारा घोटाला मामले में अपना फैसला सुनायेंगे. केसवर्ष 1990 से 1994 के बीच देवघर कोषागार से फर्जीवाड़ा करके पशु चारा के नाम पर 89.27लाख रुपये की निकासी से जुड़ा है. इस मामले में कुल 38 […]

रांची : झारखंड की राजधानी रांची स्थिति केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) की विशेष अदालत के जज शिवपाल सिंह शनिवार को चारा घोटाला मामले में अपना फैसला सुनायेंगे. केसवर्ष 1990 से 1994 के बीच देवघर कोषागार से फर्जीवाड़ा करके पशु चारा के नाम पर 89.27लाख रुपये की निकासी से जुड़ा है. इस मामले में कुल 38 लोग आरोपी थे. इनमें से 22 लोगों पर फैसला आ सकता है. सीबीआई ने सभी आरोपियों के खिलाफ 27 अक्तूबर, 1997 को मुकदमा संख्या आरसी/64 ए/1996 दर्ज किया था.21 साल की सुनवाई के बाद 22 लोगों को आज सजा सुनायी जा सकती है.

1. इस मुकदमे में लालू प्रसाद यादव, पूर्व मुख्यमंत्री जगन्नाथ मिश्रा, बिहार के पूर्व मंत्री विद्यासागर निषाद, पीएसी के तत्कालीन अध्यक्ष जगदीश शर्मा एवं ध्रुव भगत, आर के राणा, तीन आईएएस अधिकारी फूलचंद सिंह, बेक जूलियस एवं महेश प्रसाद, कोषागार के अधिकारी एस के भट्टाचार्य, पशु चिकित्सक डा. केके प्रसाद और बाकी अन्य चारा आपूर्तिकर्ता आरोपी थे.

2. 38 आरोपियों में से 11 की मौत हो चुकी है.3 सीबीआई के गवाह बन गये. दो (पीके जायसवाल व सुशील झा) ने अपना गुनाह कुबूल कर लिया. इन्हें वर्ष 2006-07 में ही सजा सुना दी गयी. इस प्रकार इस मामले में अब सिर्फ 22 आरोपी बचे हैं, जिन्हें सजा सुनायी जायेगी.

3. सीबीआई की विशेष अदालत के जज शिवपाल सिंह ने इस मामले में सभी पक्षों के गवाहों के बयान दर्ज करने और बहस के बाद अपना फैसला 13 दिसंबर को सुरक्षित रख लिया था. मामले की सुनवाई के दौरान अदालत में पेश होने के लिए बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री एवं राष्ट्रीय जनता दल (राजद) प्रमुख लालू प्रसाद यादव अपने छोटे बेटे एवं बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव के साथ शुक्रवार शाम चार बजे पटना से रांची पहुंचे. अदालत 11 बजे अपना फैसला सुना सकती है. उम्मीद है कि इस दौरान लालू प्रसाद के साथ उनके बेटे तेजस्वी भी कोर्ट रूम में मौजूद रहेंगे.

4. लालू के अधिवक्ता चित्तरंजन प्रसाद ने बताया कि इस मामले में यदि लालू एवं अन्य को दोषी ठहराया जाता है, तो उन्हें अधिकतम सात वर्ष की एवं न्यूनतम एक वर्ष की कैद की सजा होगी.

5. सीबीआई के सूत्र बताते हैं कि देवघर कोषागार से फर्जीवाड़ा करके अवैध तरीके से धन निकालने के इस मामले में लालू प्रसाद यादव एवं अन्य के खिलाफ सीबीआई ने आपराधिक षड्यंत्र, गबन, फर्जीवाड़ा, साक्ष्य छिपाने, पद के दुरुपयोग आदि से जुड़ी भारतीय दंड संहिता की धाराओं 120बी, 409, 418, 420, 467, 468, 471, 477 ए, 201, 511 के साथ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धारा 13(1)(डी) एवं 13(2) के तहत मुकदमा दर्ज किया था.

6. सीबीआई के अधिकारियों ने बताया कि इस मामले में गबन की धारा 409 में10 वर्ष तक की और धारा 467 के तहत आजीवन कारावास की सजा हो सकती है. अक्तूबर, 2013 में लालू प्रसाद को चारा घोटाले से जुड़े एक मामले में दोषी करार दिया जा चुका है. इसकी वजह से उनकी लोकसभा की सदस्यता रद्द कर दीगयी और चुनाव लड़ने पर भी रोक लग गयी.

7. इस पूरे मामले के 54 केसों में से 47 केसों में फैसला सुनाया जा चुका है. पूरे चारा कांड में 1404 लोगों को अब तक दोषी ठहराया जा चुका है, जिसमें पशु विभाग के अधिकारी, वरिष्ठ नौकरशाह, आपूर्तिकर्ता और कई नेता शामिल हैं.

8. इस फैसले के अलावा लालू प्रसाद को चारा घोटाले से जुड़े तीन और मुकदमों के फैसले का इंतजार रहेगा. गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट ने सीबीआई को निर्देश दिया है कि सभी मामलों की सुनवाई 6 महीने के अंदर पूरी की जाये.

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