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स्कूली शिक्षा व साक्षरता विभाग की सचिव ने डीएसइ के साथ की बैठक, शिक्षकों को जनजातीय भाषा पढ़ाने की दी जायेगी ट्रेनिंग

रांची : राज्य के प्राथमिक व मध्य विद्यालय के शिक्षकों को जनजातीय भाषा पढ़ाने का प्रशिक्षण दिया जायेगा. इसके लिए जिलों से शिक्षकों का नाम मांगा गया है. सभी जिला शिक्षा अधीक्षक को एक सप्ताह के अंदर शिक्षकों का नाम देने को कहा गया है. यह निर्देश स्कूली शिक्षा व साक्षरता विभाग की सचिव आराधना […]

रांची : राज्य के प्राथमिक व मध्य विद्यालय के शिक्षकों को जनजातीय भाषा पढ़ाने का प्रशिक्षण दिया जायेगा. इसके लिए जिलों से शिक्षकों का नाम मांगा गया है. सभी जिला शिक्षा अधीक्षक को एक सप्ताह के अंदर शिक्षकों का नाम देने को कहा गया है. यह निर्देश स्कूली शिक्षा व साक्षरता विभाग की सचिव आराधना पटनायक ने मंगलवार को जिला शिक्षा अधीक्षकों की बैठक में दिया.
स्कूली शिक्षा व साक्षरता विभाग ने प्राथमिक कक्षा के लिए जनजातीय भाषा में किताब भी तैयार किया है. इसमें विशेष रूप से पारा शिक्षकों को जिम्मेदारी देने को कहा गया है. पारा शिक्षक स्थानीय स्तर पर नियुक्त होते हैं. पाकुड़, दुमका, गुमला, लोहरदगा, सिमडेगा, पश्चिमी सिंहभूम, खूंटी व रांची में प्रथम चरण में शिक्षकों को प्रशिक्षण दिया जायेगा. सभी जिला शिक्षा अधीक्षक को पांच जुलाई तक किताब प्रकाशन के लिए रिपोर्ट देने को कहा गया है.

जिला शिक्षा अधीक्षक को जिले में कुल नामांकित बच्चों की संख्या व पूर्व से बची हुई किताब की रिपोर्ट देने को कहा गया है, ताकि वर्ष 2018-19 के लिए किताब प्रकाशन की प्रक्रिया शुरू की जा सके. हमारा विद्यालय-आदर्श विद्यालय के चयन की प्रक्रिया जल्द पूरा करने को कहा गया. इसके लिए दो जुलाई तक विद्यालयों का नाम देने को कहा गया है. सचिव ने सभी जिला शिक्षा अधीक्षक को 31 जुलाई तक शत-प्रतिशत स्कूलों में विद्युतीकरण कार्य पूरा करने को कहा. जिलों को अग्रिम राशि सामंजन की प्रक्रिया जल्द पूरा करने को कहा गया.

डीएसइ ने शिक्षकों के टेस्ट की कॉपी जमा की
स्कूली शिक्षा व साक्षरता विभाग ने प्राथमिक व मध्य विद्यालय के शिक्षकों का प्रशिक्षण के पूर्व व प्रशिक्षण के बाद टेस्ट लेने का निर्देश दिया था. इस आलोक में कुछ जिलों के जिला शिक्षा अधीक्षक ने शिक्षकों के टेस्ट की कॉपी विभाग में जमा की. विभाग द्वारा इसका मूल्यांकन कराया जायेगा. इसके अलावा सितंबर में शिक्षकों की परीक्षा ली जायेगी, जिसमें शिक्षक अपने चयनित विषय में परीक्षा देंगे. परीक्षा के बाद आवश्यकतानुसार शिक्षकों को प्रशिक्षण दिया जायेगा. स्कूलों में बेंच-डेस्क की आपूर्ति की समीक्षा की गयी. पलामू, सरायकेला व खूंटी ने बेंच-डेस्क के लिए और राशि की मांग की. जिलों को राशि जल्द उपलब्ध करा दी जायेगी. राज्य के 76 फीसदी स्कूलों में बेंच-डेस्क की आपूर्ति हो गयी है.
बाहर किये गये देर से पहुंचे अधिकारी
बैठक में देर से पहुंचे अधिकारी को सचिव ने बैठक में शामिल होने नहीं दिया. पलामू के क्षेत्रीय उप शिक्षा निदेशक राम यतन राम व पाकुड़ के एडीपीओ जयंत मिश्रा को बैठक से बाहर कर दिया गया. उल्लेखनीय है कि सचिव ने पूर्व में बैठक में देर से पहुंचने को लेकर अधिकारियों को चेतावनी दी थी. देवघर, चतरा, गुमला, पलामू जिला में योजनाओं की दयनीय स्थिति पर सचिव ने नाराजगी जतायी.
पारा शिक्षकों के प्रमाण पत्र का करायें सत्यापन
बैठक में पारा शिक्षकों के प्रमाण पत्र के सत्यापन की स्थिति की समीक्षा की गयी. कई जिला शिक्षा अधीक्षक ने बताया कि परीक्षा बोर्ड को प्रमाण पत्र सत्यापन के लिए भेज दिया गया है. परीक्षा बोर्ड की ओर से सत्यापन रिपोर्ट नहीं भेजी गयी है. पलामू, धनबाद, रांची, साहेबगंज, गढ़वा, हजारीबाग व बोकारो में प्रमाण पत्र सत्यापन की स्थिति संतोषजनक नहीं पायी गयी. इन जिलों के जिला शिक्षा अधीक्षक को इसके लिए फटकार लगायी गयी. बच्चों को स्कूल किट 31 जुलाई तक हर हाल में देेने को कहा गया. बैठक में बच्चों के बैंक खाता को आधार से जोड़ने की भी समीक्षा की गयी.

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