रजरप्पा : रजरप्पा मंदिर में चैत्र नवरात्र की तैयारी पूरी कर ली गयी है. शक्तिदायिनी मां दुर्गा का ध्यान भक्तों को नौ दिन के जगह आठ दिन ही करना होगा. तृतीया और चतुर्थी तिथि दस अप्रैल को एक साथ पड़ रहा है.
इस संदर्भ में रजरप्पा मंदिर के वरिष्ठ पुजारी असीम पंडा ने बताया कि चैत्र नवरात्र आठ अप्रैल से शुरू हो रहा है. चैत्र नवरात्र का समापन 15 अप्रैल को होगा. मां दुर्गे की आराधना के लिए वर्ष के दो माह चैत्र नवरात्र और शारदीय नवरात्र काफी महत्वपूर्ण माने जाते हैं. चैत्र नवरात्र को लेकर छिन्नमस्तिका मंदिर में तैयारी पूरी हो गयी है.
कुंडों की साफ सफाई की गयी है. वही यहां दूर-दराज से पहुंचने वाले साधकों के ठहरने के लिए व्यवस्था की गयी है. उन्होंने बताया कि कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त नवरात्र के पहले दिन सुबह छह बजकर आठ मिनट में शुरु होगी. साधक दिन के 10 : 14 मिनट तक कलश की स्थापना कर सकते है. रजरप्पा मंदिर के अलावे चितरपुर, दुलमी, गोला प्रखंड के विभिन्न दुर्गा मंदिरों में चैती नवरात्र की तैयारी पूरी कर ली गयी है.
रजरप्पा मंदिर में है नवरात्र का विशेष महत्व
रजरप्पा स्थित छिन्नमस्तिके मंदिर में नवरात्र का विशेष महत्व है. इस कारण राज्य व दूसरे राज्यों से साधक व श्रद्धालु यहां पहुंच कर आठ दिनों तक अनुष्ठान करेंगे. जानकारी के अनुसार आठ अप्रैल को मां शैलपुत्री, नौ को मां ब्रह्मचारिणी, दस को मां चंद्रघंटा और मां कूष्मांडा, 11 मां स्कंदमाता, 12 को मां कात्यायनी, 13 को मां कालरात्रि, 14 मां महागौरी एवं 15 मां दुर्गा के सिद्धदात्रीस्वरूप की विधि-विधान से पूजा की जायेगी.