12 नवंबर को उनका बड़ा भाई एन शिव प्रकाश राव विशाखापत्तनम चले गये. अकेला होने के कारण मां घर में ताला बंद कर मामा के घर टिनप्लेट चली आयी. 17 नवंबर की सुबह सात बजे वह टाटा मोटर्स से ड्यूटी कर महतोडीह गये. वहां देखा कि घर का ग्रिल का ताला टूटा है. सारा सामान अस्त-व्यस्त है.
चोर घर से पांच तोला सोना (कान की बाली-3 व अंगूठी-3), एलइडी टीवी, पीतल का सामान, कपड़ा, एक किलो की चांदी की थाली, 10 हजार रुपये नकद और घड़ी ले गये. शिव प्रकाश राव का साकची में टाइपिंग इंस्टीट्यूट है. 19 नवंबर को शिव प्रकाश राव अपने घर पहुंचे. चोरी गये सामान की सूची पुलिस को सौंपी.