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शहर की 86 बस्तियों के लोग होंगे सबलीजी

जमशेदपुर: शहर की 86 बस्तियों के लोगों को अब मालिकाना हक नहीं मिलेगा. सोनारी, कदमा, गोलमुरी समेत आसपास के अन्य इलाकों के लोगों की तरह ही उन्हें सबलीजी बनाया जायेगा. इस कड़ी में 86 बस्तियों को पुन: टाटा लीज में शामिल करने की तैयारी शुरू कर दी गयी है. इससे संबंधित प्रक्रिया व प्रावधान तय […]

जमशेदपुर: शहर की 86 बस्तियों के लोगों को अब मालिकाना हक नहीं मिलेगा. सोनारी, कदमा, गोलमुरी समेत आसपास के अन्य इलाकों के लोगों की तरह ही उन्हें सबलीजी बनाया जायेगा. इस कड़ी में 86 बस्तियों को पुन: टाटा लीज में शामिल करने की तैयारी शुरू कर दी गयी है.

इससे संबंधित प्रक्रिया व प्रावधान तय करने के लिए विकास आयुक्त के नेतृत्व में कमेटी गठित की गयी है. कमेटी में नगर विकास विभाग के प्रधान सचिव/ सचिव को सदस्य सचिव तथा राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के अपर मुख्य सचिव/ प्रधान सचिव/ सचिव, विधि विभाग के सचिव, महाधिवक्ता के प्रतिनिधि, कोल्हान आयुक्त, पूर्वी सिंहभूम के उपायुक्त एवं टाटा स्टील के प्रतिनिधि को शामिल किया गया है. कमेटी को 15 दिन में टाटा लीज से बाहर एवं अतिक्रमित बस्तियों (86 से बढ़कर अब 115 बस्ती) पर मॉडलिटी तय कर रिपोर्ट सरकार को भेजने कहा गया है. इस संबंध में नगर विकास विभाग के सचिव अजय कुमार सिंह ने अधिसूचना जारी की है.

इसके साथ ही राज्य सरकार ने यह स्पष्ट कर दिया है कि जमशेदपुर को औद्योगिक शहर ही बनाया जायेगा.
क्या है अधिसूचना में : जारी अधिसूचना में सचिव ने कहा है कि सर्वोच्च न्यायालय की ओर से टाटा स्टील बनाम झारखंड सरकार( एसएलपी नं. 14926/2006) तथा टाटा स्टील बनाम झारखंड सरकार एवं अन्य( एसएलए नंबर 464/ 2008) मामले में 2 सितंबर 2014 को एक आदेश दिया गया था. इस आदेश के आलोक में जमशेदपुर को औद्योगिक नगरी के रूप में घोषित करने पर विचार किया जा रहा है. विभाग की ओर से 11 अगस्त 2012 को जमशेदपुर को औद्योगिक नगरी घोषित करने के बिंदु पर तीन शर्तो पर जवाब मांगा गया था. इसमें टाटा कंपनी उच्चतम न्यायालय में दायर एसएलपी वापस ले. वैसी बसावटें( 86 बस्ती) जो पूर्व में टाटा लीज क्षेत्र में रही है उन्हें सब लीज में पुन: शामिल करते हुए उनको सभी मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए कंपनी सहमत हो तथा औद्योगिक नगरी के लिए गठित पर्षद में सरकार का उचित प्रतिनिधित्व हो की बात शामिल थी.
अधिसूचना के अनुसार 86 बस्तियों को सब लीज में पुन: शामिल करते हुए सभी मूलभूत सुविधा उपलब्ध कराने के बिंदु पर टाटा स्टील की ओर से कहा गया कि प्रबंधन के अधिकार क्षेत्र में मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध करायी जा रही है. वैसी बसावटें( 86 बस्ती) जो टाटा लीज से बाहर हैं और अतिक्रमित हैं, उसे टाटा लीज में शामिल करने के संबंध में मॉडलिटी तय करने का अनुरोध किया गया है.
बैठक में भी उठा था मुद्दा: जमशेदपुर को औद्योगिक नगरी घोषित करने के लिए नगर विकास सचिव द्वारा जमशेदपुर में तथा मुख्य सचिव द्वारा रांची में बैठक की गयी थी. बैठक में विधायक रघुवर दास समेत अन्य लोगों द्वारा 86 बस्ती को लीज में शामिल करने तथा मुलभूत सुविधा उपलब्ध कराने का प्रस्ताव रखा था.
क्या है नयी योजना
जमशेदपुर शहर को औद्योगिक नगर का दरजा मिलेगा
86 बस्तियों (अब 115 से अधिक) को मालिकाना हक नहीं देकर उसको टाटा लीज में शामिल किया जायेगा
जिस तरह गोलमुरी, सिदगोड़ा, बारीडीह, सोनारी, कदमा, बिष्टुपुर, साकची में लोग टाटा लीज के सबलीजी के रूप में रह रहे हैं, ठीक इसी तर्ज पर बस्तियों के लोगों को सबलीजी बना दिया जायेगा
बैठक में भी उठा था मुद्दा: जमशेदपुर को औद्योगिक नगरी घोषित करने के लिए नगर विकास सचिव द्वारा जमशेदपुर में तथा मुख्य सचिव द्वारा रांची में बैठक की गयी थी. बैठक में 86 बस्ती को लीज में शामिल करने तथा मुलभूत सुविधा उपलब्ध कराने का प्रस्ताव रखा गया था.
टाटा लीज नवीकरण जब अगस्त 2005 में हुआ था, तब वर्तमान मुख्यमंत्री रघुवर दास (उस वक्त नगर विकास मंत्री थे) की पहल पर टाटा लीज से 1600 एकड़ जमीन को बाहर कर दिया गया था.

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