जमशेदपुर : चिकित्सकों के हड़ताल के दौरान स्वास्थ्य सेवा बहाल रखने के लिए एमजीएम कॉलेज के प्राचार्य डॉ. एसी अखौरी तथा अधीक्षक बी भूषण ने स्वयं मोर्चा संभाला. वहीं सदर अस्पताल में सिविल सर्जन डॉ महेश्वर प्रसाद व्यवस्था की निगरानी करते रहे. एमजीएम प्राचार्य ने अस्पताल का दौरा किया. अधीक्षक सहित दूसरे चिकित्सकों एवं स्वास्थ्य […]
जमशेदपुर : चिकित्सकों के हड़ताल के दौरान स्वास्थ्य सेवा बहाल रखने के लिए एमजीएम कॉलेज के प्राचार्य डॉ. एसी अखौरी तथा अधीक्षक बी भूषण ने स्वयं मोर्चा संभाला. वहीं सदर अस्पताल में सिविल सर्जन डॉ महेश्वर प्रसाद व्यवस्था की निगरानी करते रहे. एमजीएम प्राचार्य ने अस्पताल का दौरा किया. अधीक्षक सहित दूसरे चिकित्सकों एवं स्वास्थ्य कर्मचारियों के साथ बैठक की.
मरीजों को हर संभव मदद उपलब्ध कराने का निर्देश दिया. ओपीडी का ताला खुला रखा गया. हालांकि चिकित्सक नहीं बैठे. मरीजों को इमरजेंसी में इलाज मुहैया कराया गया. सदर अस्पताल में सिविल सर्जन ने भी चिकित्सकों के साथ बैठक कर व्यवस्था का जायजा लिया.
क्या कहते हैं मरीज
मैं इलाज के लिए एमजीएम आया था. यहां आकर पता चला कि चिकित्सक मांगों को लेकर हड़ताल पर हैं. आेपीडी में कुछ देर तक इंतजार किया. चिकित्सक के नहीं आने पर वापस लौट रहा हूं. कल फिर से आकर चिकित्सक का इंतजार करूंगा. अशोक, मरीज
ओपीडी में चिकित्सक नहीं हैं. काउंटर से दवा भी नहीं मिली. पूछने पर बताया गया कि डॉक्टर हड़ताल पर हैं. डॉक्टरों को मरीजों की परेशानियों का ध्यान रखना चाहिए. बड़ी उम्मीद लेकर लोग अस्पताल आते हैं.
एमडी शकील, मरीज
मैं घर के पास ही प्राइवेट क्लिनिक में गयी थी तो ओपीडी बंद मिला. फिर एमजीएम आयी. यहां भी ओपीडी में कोई डॉक्टर नहीं मिला. अस्पताल आये कुछ अधिकारियों ने कहा कि अभी इमरजेंसी में इलाज करा लो. कल से ओपीडी खुलेगा.
जलेश्वरी सिंह, मरीज
मुझे नहीं पता था कि डॉक्टरों की हड़ताल है. अस्पताल में बताया कि हड़ताल है. करीब दो घंटे इंतजार किया. नंबर लगाने के लिए ओपीडी खुलने से पहले ही मैं अस्पताल पहुंच गया था.
भोलानाथ, मरीज
ओपीडी का ताला तो खुला लेकिन चिकित्सक नहीं आये. इमरजेंसी में दिखाने के लिए तीन घंटे इंतजार करना पड़ता. ओपीडी के मरीजों ने इमरजेंसी में ही जांच करायी.
आरती कुमारी, मरीज