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केरेडारी को चार घंटे ही मिल रही बिजली
केरेडारी : केरेडारी प्रखंड में विद्युत पावर सब स्टेशन लाखों रुपये की लागत से बनाया गया. लोगों में आश जगी थी कि अब निर्बाध बिजली मिलेगी, पर उपभोक्ताओं का सपना अधूरा ही रह गया. निर्बाध बिजली तो दूर लोगों को ससमय बिजली भी नहीं मिल पाती है. महत्वपूर्ण कार्य भी बिजली नहीं मिलने से अधूरा […]
केरेडारी : केरेडारी प्रखंड में विद्युत पावर सब स्टेशन लाखों रुपये की लागत से बनाया गया. लोगों में आश जगी थी कि अब निर्बाध बिजली मिलेगी, पर उपभोक्ताओं का सपना अधूरा ही रह गया. निर्बाध बिजली तो दूर लोगों को ससमय बिजली भी नहीं मिल पाती है. महत्वपूर्ण कार्य भी बिजली नहीं मिलने से अधूरा रह जाता है. पिछले एक महीने से केरेडारी प्रखंड में बिजली व्यवस्था पूरी तरह से चरमरा गयी है. केरेडारी को 24 घंटे में मात्र तीन से चार घंटे ही बिजली मिल रही है. दिन भर बिजली गुल रहती है, जो शाम सात बजे बिजली मिलती है.
एक घंटे रहने के बाद बिजली चली जाती है़ फिर देर रात को बिजली मिलती है. पूरे दिन बिजली का आना-जाना लगा रहता है. शाम में बिजली का मिलना सपना सा हो गया है. बिजली बाधित रहने से केरेडारी प्रखंड के छोटे-बड़े उद्योग धंधे, इलेक्ट्रॉनिक्स दुकानें, मिल घर समेत विद्यार्थियों का पठन-पाठन भी प्रभावित हो गया है. इसके अलावा घर में रखे टीवी, फ्रीज, वाशिंग मशीन भी रखे-रखे खराब हो रहे हैं. बिजली के युग में भी विद्यार्थियों को लालटेन में पढ़ना पड़ रहा है.
ब्रेकर हटाने की मांग : केरेडारी के बिजली ऑपरेटर ने बताया कि बिजली डेमोटांड़ से चालू होने के बाद बड़कागांव का ऑपरेटर बिजली को रोके रहता है. दर्जनों बार फोन करने के बाद भी लाइन चालू नहीं करता. जिस कारण बिजली केरेडारी में नहीं रहती है. केरेडारी के उपभोक्ताओं ने बिजली विभाग से बड़कागांव से बिजली रोकने पर हर्जाना देने व ब्रेकर हटाने की मांग डीसी से की है़ ऐसा नहीं करने पर उपभोक्ता सड़क पर उतरने का मन बना रहे हैं.
आजादी के बाद भी बिजली नहीं : देश को आजादी मिले 68 साल बित गये. आज भी दर्जनों गांव अंधेरे में रहने को विवश हैं. प्रखंड के हेवई के हरिजन टोला, पहरा, पगार, पचड़ा, सायल, बड़कीटांड़, बिरहोर कॉलोनी समेत कई गांव हैं जहां बिजली नहीं पहुंची है. बिजली के नाम पर सिर्फ खंभे नजर आते हैं.
पोल जर्जर : केरेडारी प्रखंड में 11 हजार व 440 वोल्ट के तार व खंभे पिछले कई सालों से जजर्र पड़े हैं. केरेडारी के खपिया में सात बिजली के खंभे लकड़ी के हैं. जिसमें 11 हजार वोल्ट का सप्लाई हो रहा है, जो कि जजर्र होकर गिरने के कगार पर है. जिससे कभी भी बड़ी घटना घट सकती है.
इसके अलावा भदईखाप, लोइसुकवार, कराली समेत कई गांवों में 11 हजार व 440 वोल्ट के तार जमीन पर झूल रहे हैं. बिजली विभाग से तार व खंभे बदलने की मांग ग्रामीण कई बार कर चुके हैं, लेकिन आज तक बिजली विभाग द्वारा इसे नहीं बदला गया.
सब स्टेशन में सामान का घोर अभाव : केरेडारी सब स्टेशन में बिजली मरम्मत करने के लिए ऑपरेटर, जेई, इनसुलेटर, टीवी, तार का घोर अभाव है.
क्या कहते हैं लोग : केरेडारी के अरविंद कुमार ने कहा कि मैं 10वीं का छात्र हूं. बिजली नहीं रहने से हमारी पढ़ाई बाधित होती है. बिजली सात बजे शाम में आती है. आठ बजते ही कट जाती है. इस बीच बिजली हमेशा आते-जाते रहती है.
महेश महतो ने कहा कि दिन भर बिजली का आना-जाना लगा रहता है. बिजली नहीं रहने से खेतों में सिंचाई करने में परेशानी होती है. बच्चों की पढ़ाई भी बाधित होती है. बिजली विभाग के पास शिकायत करने पर भी कोई हल नहीं निकलता है.
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