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रास्ते में चालक ने एंबुलेंस से शव उतारा, परिजन गिड़गिड़ाते रहे, लेकिन चालक ने किसी की न सुनी
पालकोट(गुमला) : गुमला में फिर एंबुलेंस चालक की लापरवाही सामने आयी है. 108 एंबुलेंस के चालक ने बच्ची के शव को बीच सड़क पर उतार दिया. परिजन गिड़गिड़ाते रहे, लेकिन एंबुलेंस चालक ने शव को घर तक नहीं पहुंचाया. अंत में परिजन किराये पर टेंपो लेकर शव को अपने घर ले गये. जानकारी के अनुसार, […]
पालकोट(गुमला) : गुमला में फिर एंबुलेंस चालक की लापरवाही सामने आयी है. 108 एंबुलेंस के चालक ने बच्ची के शव को बीच सड़क पर उतार दिया. परिजन गिड़गिड़ाते रहे, लेकिन एंबुलेंस चालक ने शव को घर तक नहीं पहुंचाया. अंत में परिजन किराये पर टेंपो लेकर शव को अपने घर ले गये.
जानकारी के अनुसार, रविवार को पालकोट थाना क्षेत्र के पेटसेरा गांव के अलबर्ट एक्का की बेटी अरसी एक्का (तीन) हादसे में घायल हो गयी थी. परिजन उसे गुमला सदर अस्पताल लेकर आये. अरसी की स्थिति नाजुक थी. डॉक्टर ने अरसी को रांची रेफर कर दिया. परिजन रविवार देर शाम को घायल अरसी को 108 एंबुलेंस में रांची ले जा रहे थे, लेकिन सिसई पहुंचते ही बीच रास्ते में अरसी की मौत हो गयी.
एंबुलेंस चालक शव को वापस गुमला ला रहा था. परिजनों ने कहा कि शव को घर पहुंचा दे, लेकिन एंबुलेंस चालक ने शव को घर ले जाने से इंकार कर दिया और गुमला पहुंचने से पहले करमडीपा के समीप शव के साथ परिजनों को सड़क के किनारे उतार दिया और चालक वहां से निकल गया. पिता अलबर्ट एक्का ने कहा कि किसी प्रकार रात में टेंपो की व्यवस्था कर रात नौ बजे शव लेकर घर पहुंचे. एंबुलेंस चालक को कहते रहे, लेकिन वह शव नहीं पहुंचाया और सड़क पर उतार कर चला गया.
इस संबंध में मुखिया इग्नेशिया लकड़ा ने कहा कि यह घोर लापरवाही है. एंबुलेंस चालक पर कार्रवाई होनी चाहिए. पालकोट प्रखंड बीस सूत्री अध्यक्ष सुमित कुमार केसरी ने कहा कि 108 एंबुलेंस शव लेकर घर नहीं जाती है. लेकिन चालक का कर्तव्य बनता है कि रात है, तो शव को घर पहुंचा दे. सिविल सर्जन इस मामले की जांच करें. इधर, गुमला सदर अस्पताल के डीएस डॉक्टर आरएन यादव ने कहा कि 108 एंबुलेंस की जानकारी रांची से ही मिल सकती है.
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