घनुडीह: बस्ताकोला क्षेत्र की बेड़ा कोलियरी के 21 नंबर शताब्दी भूमिगत खदान में गुरुवार की रात पाली में गैस रिसाव से मजदूरों में अफरातफरी मच गयी. गैस से कर्मियों का दम घुटने लगा. घटना रात करीब 10 बजे की है. माइनिंग सरदार व अन्य कर्मी सेफ्टी लैंप से गैस की मापी कर रहे थे तभी लैंप बूझ गयी. इसकी सूचना वरीय अधिकारियों को दी गयी. प्रबंधन के आदेश पर आनन-फानन में सभी कर्मियों को खदान से बाहर निकाला गया.
शुक्रवार को एरिया सेफ्टी ऑफिसर एके प्रजापत व कोलियरी के सेफ्टी ऑफिसर गौतम मिश्र खदान के वर्किग फेस पहुंचे. दोनों ने नक्शा का अवलोकन किया. गैस रिसाव की जांच की गयी. फेस को ठंडा करने के लिए पंखे भी लगाये गये. एहतियात के तौर पर खदान में मजदूरों को जाने पर रोक लगा दी गयी है. इससे कोयला उत्पादन ठप रहा. दोनों अधिकारियों ने करीब दो घंटे तक खदान का निरीक्षण किया. अधिकारियों ने कहा कि जल्द ही स्थिति सामान्य हो जायेगी.
कैसे हुई घटना : रात करीब दस बजे खदान के 34, 35 व 36 नंबर लेबल में काम चल रहा था. तभी ड्रील मैन सुरेश कुमार व अन्य कर्मियों को सांस लेने में परेशानी होनी लगी. घुटन महसूस होने पर सेफ्टी लैंप मंगायी गयी. दोनों वर्किग फेस में आते ही लैंप बूझ गयी. इससे कर्मियों में हड़कंप मच गया. इसके बाद कर्मियों को खदान से बाहर निकाला गया.
जल जमाव से हुई घटना : एरिया सेफ्टी ऑफिसर एके प्रजापत व पीओ सीके बंदोपाध्याय ने बताया कि बारिश से खदान में जल जमाव से ऐसी स्थिति उत्पन्न हुई. बीसीसीएल के जीएम (सेफ्टी) सुरेंद्र सिंह का कहना है कि घटना की जानकारी उन्हें नहीं है. जानकारी लेकर ठोस कदम उठाये जायेंगे.