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फायर एरिया: अब बंद चानक के आसपास के लोगों की जान खतरे में, मोहरीबांध में फिर गैस रिसाव, दहशत

घनुडीह: लोदना क्षेत्र के मोहरीबांध बिजली घर स्थित बंद तीन नंबर चानक के पंखा घर से सोमवार की दोपहर 12.30 बजे भारी मात्रा में गैस निकलने लगी. इसके बाद वहां अफरातफरी मच गयी. दहशतजदा लोग जान बचा कर घर से निकल गये. आनन-फानन में लोगों‍ ने लोदना प्रबंधन को इसकी सूचना दी. तीन नंबर बंद […]

घनुडीह: लोदना क्षेत्र के मोहरीबांध बिजली घर स्थित बंद तीन नंबर चानक के पंखा घर से सोमवार की दोपहर 12.30 बजे भारी मात्रा में गैस निकलने लगी. इसके बाद वहां अफरातफरी मच गयी. दहशतजदा लोग जान बचा कर घर से निकल गये. आनन-फानन में लोगों‍ ने लोदना प्रबंधन को इसकी सूचना दी. तीन नंबर बंद चानक के आसपास करीब 50 से ज्यादा असंगठित लोगों का घर है.

सूचना पाकर बस्ताकोला रेस्क्यू टीम व घनुडीह पुलिस घटनास्थल पहुंची. तीन नंबर बंद चानक के पंखा घर के पास रहने वाले भागीरथ मोदी, महेश पासवान, गणेश बागती, प्रकाश मल्लाह, सुनीता देवी, दिलीप साव, कौशल्या देवी आदि ने बताया कि राष्ट्रीयकरण से पूर्व मोहरीबांध कुजामा तीन नंबर चानक चलता था. उसे प्रबंधन ने मुहाने व पंखा घर को ढलाई कर बंद कर दिया था. इस स्थल पर लोग वर्षों से रहते आ रहे हैं. 19 अगस्त को भू-धंसान व दरार की घटना के दिन पंखा घर की दीवार गिर गयी थी. आज सुबह कुजामा प्रबंधन ने पंखा घर की दीवार मरम्मत करने का प्रयास किया था. लेकिन लोगों के विरोध के बाद वापस चले गये. रविवार की देर रात से ही चानक से आवाज आ रही थी. 12.30 बजे जोरदार आवाज के बाद भारी गैस रिसाव निकलने लगी. बीसीसीएल व जेआरडीए स्थानीय प्रभावित लोगों का शीघ्र पुनर्वास करे.

बिजली घर असुरक्षित : मोहरीबांध तीन नंबर चानक से सटा कुजामा प्रबंधन का बिजली घर सबसे ज्यादा असुरक्षित हो गया है. बिजली घर में 11 हजार वोल्ट का बिजली को 220 में कन्वर्ट कर विद्युतापूर्ति होती है. यहां कई ट्रांसफॉर्मर व स्विच हैं. उसमें आग लगने की आशंका बन सकती है.
बीसीसीएल व जिला प्रशासन गैरजिम्मेवार : वार्ड 46 के डिप्टी मेयर प्रतिनिधि राधेश्याम वाल्मीकि ने बताया कि प्रबंधन व जेआरडीए की लापरवाही के कारण सैकड़ों लोग खतरे में रहने को मजबूर हैं. पूरा क्षेत्र अग्नि-प्रभावित है. प्रबंधन व जिला प्रशासन बड़ी घटना का इंतजार कर रहा है. बीसीसीएल व जिला प्रशासन गैरजिम्मेवार है.
क्या कहते हैं लोदना महाप्रबंधक
लोदना जीएम कल्याणजी प्रसाद ने बताया कि गैस रिसाव में कार्बन की मात्रा अधिक है. सुरक्षा को देखते हुए आसपास के लोग सुरक्षित स्थान पर चले जायें. राज्य सरकार व जिला प्रशासन को पत्र से सूचित कर दिया गया है. कई लोग बेलगड़िया जाने में बहाना बना रहे हैं. जेआरडीए को प्रभावित लोगों की सूची सौंप दी गयी है.
19 को घर गिरने से वृद्धा की हुई थी मौत
19 अगस्त को मोहरीबांध कुजामा में भू-धंसान व दरार की घटना में करीब दो सौ लोग प्रभावित हुए थे. दर्जनों लोगों का घर व जमीन में दरार पड़ गयी थी. साथ कई घर ध्वस्त भी हो गये थे. बीसीसीएलकर्मी रामप्रवेश साव की मां भगवानी देवी (80) की मौत मलबे में दबने से हो गयी थी. रामप्रवेश की भाभी सुमित्रा देवी व रोहित घायल हो गये थे.
अभी भी दो सौ लोग बने हुए हैं शरणार्थी
अभी भी दो सौ प्रभावित पिछले 15 दिनों से सड़क किनारे व लोदना डिस्पेंसरी में शरण लिये हुए हैं. बीसीसीएल प्रबंधन व जिला प्रशासन के उदासीन रवैया से लोग आक्रोशित हैं. देर शाम बरारी प्रबंधक परवेज आलम व कुजामा सुरक्षा पदाधिकारी केएन जायसवाल बालू की बोरी लेकर पंखा घर की भराई करने पहुंचे. बाद में जोड़ापोखर इंस्पेक्टर गेंदरू भगत, घनुडीह थानेदार पीसी यादव व सीआइएसएफ के डिप्टी कमांडर एके कुंदन भी घटनास्थल का निरीक्षण करने पहुंचे.
गैस में जहरीली कार्बन की मात्रा अधिक
बस्ताकोला रेस्क्यू टीम का वैन मोहरीबांध तीन नंबर चानक पहुंचा. इसके बाद गैस डिटेक्टर से गैस का सैंपल लेकर सिंफर को जांच के लिए भेजा. रेस्क्यू कैप्टन शिवगोपाल साह ने बताया कि प्रथम दृष्टया हो रहे गैस रिसाव में कार्बन की मात्रा ज्यादा प्रतीत होती है. खदान में सात प्रकार की गैस है. गैस रिसाव से लोगों के स्वास्थ्य पर बुरा प्रभाव पड़ेगा. आसपास के क्षेत्र को खाली करने में ही सही रहेगा. पंखा घर का मुहाने की भराई जरूरी है. रिपोर्ट आने के बाद पता चलेगा की कौन सी गैस है.

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