देवघर: जिसका कोई नहीं, उसका रक्तदान महादान ग्रुप… इसी को मूल मंत्र मानते हुए इस शहर के युवाओं की एक टोली करीब डेढ़ साल से लोगों की सेवा में जुटी है. किसी को भी खून चाहिए, ये युवा आगे आते हैं. दिवाली को लेकर रक्तदान-महादान ग्रुप के सदस्यों का संदेश है कि अपनी दिवाली की खुशियां लोगों का जीने का सहारा बनकर बांटें.
ग्रुप का नेटवर्क झारखंड के कई जिलों सहित बिहार, दिल्ली, नोएडा तक फैल चुका है. लोगों को बाहर में भी ब्लड की जरूरत होती है, तो सदस्य मदद को तत्पर हो जाते हैं. ग्रुप एडमिन दीपक सिंह ने बताया कि एक घटना से ही दिल बदल गया और उसी दिन से लोगों की मदद करने की ठान ली. बगल के फल विक्रेता की पुत्री को खून की कमी हुई थी. उसके अभिभावकों के कहने पर वह रक्तदान करने ब्लड बैंक गये, तो परेशानी देख खुद को नहीं रोक सके. 12 मई 2016 को रक्तदान-महादान वाट्सएप ग्रुप बनाया और लोगों की मदद में आगे आये. दोस्तों से इसकी चर्चा की तो सभी ने एक स्वर में अभियान को मुकाम देने का संकल्प लिया. ग्रुप में अनय पाठक, कुमार वैभव, मयंक, आनंद, मनीष व अन्य सदस्यों की भी अच्छी भागीदारी है. अब यह ग्रुप रक्तदान के क्षेत्र में समाज के लिये प्रेरणास्रोत बन चुका है.