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बायोमेट्रिक सिस्टम की तकनीकी खामियों को दूर करें
चतरा जिला 20 सूत्री कार्यक्रम कार्यान्वयन समिति के सदस्य ऋषिबाला ने उपायुक्त से बायोमेट्रिक सिस्टम की तकनीकी खामी को दूर करने की मांग की है. कहा कि जिले में बायोमेट्रिक सिस्टम से कार्डधारियों को अनाज वितरण किया जा रहा है. डीलरों द्वारा गोदाम से उठाव दिखता है, लेकिन वितरण के बाद स्टॉक में कितना अनाज […]
चतरा जिला 20 सूत्री कार्यक्रम कार्यान्वयन समिति के सदस्य ऋषिबाला ने उपायुक्त से बायोमेट्रिक सिस्टम की तकनीकी खामी को दूर करने की मांग की है. कहा कि जिले में बायोमेट्रिक सिस्टम से कार्डधारियों को अनाज वितरण किया जा रहा है. डीलरों द्वारा गोदाम से उठाव दिखता है, लेकिन वितरण के बाद स्टॉक में कितना अनाज बचा यह पता नहीं चल पाता है. उन्होंने कहा कि इटखोरी, मयूरहंड के प्रत्येक डीलरों के पास हर माह पांच से 10 क्विंटल अनाज बच रहा है. जो कार्डधारी अनाज का उठाव नहीं कर पाते है, अगले माह का राशन बायोमेट्रिक सिस्टम में नहीं दिखता है. इस तरह बड़ी गड़बड़ी की आशंका बनी रहती है.
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार द्वारा इस सिस्टम के प्रचार-प्रसार के लिए चतरा जिला को डीलरों के प्रशिक्षण के लिए करीब 17 लाख रुपये दिये गये. लेकिन उपभोक्ताओं को जागरूक करने व डीलरों के प्रशिक्षण में कोई खर्च नहीं किया गया. सूचना के अधिकार के तहत जिला आपूर्ति विभाग से सूचना मांगी गयी, तो प्रशिक्षण के लिए किसी प्रकार की राशि उपलब्ध नहीं होने की बात कही गयी.
जबकि सेमिनार, कार्यशाला, प्रशिक्षण आयोजित, पदाधिकारियों का दौरा व उपभोक्ताओं को जागरूक करने के लिए विभागीय पत्रांक 3100 दिनांक 10 अगस्त 2016 द्वारा 17 लाख आवंटन प्राप्त होने की बात बतायी गयी है. साथ ही यह आवंटन किसी भी प्रखंड में उपावंटन नहीं किये जाने की जानकारी दी गयी. ऋषिबाला ने उपायुक्त से उक्त सभी मामलों को गंभीरता से लेते हुए जांच कर दोषी पदाधिकारियों पर कार्रवाई करने की मांग की है.
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