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–कोल इंडिया : सार्वजनिक क्षेत्र में विश्व का सबसे बड़ा कोयला उत्पादक है कोल इंडिया 70 मिलियन टन से 475 मिलियन टन हुआ उत्पादनराष्ट्रीयकरण के बाद कोयला मजदूरों के जीवन स्तर सुधराअप्रैल 2011 में कोल इंडिया को मिला महारत्न कंपनी का दर्जा एक नवंबर 1975 को हुआ था कोल इंडिया का गठन कोल इंडिया के […]

–कोल इंडिया : सार्वजनिक क्षेत्र में विश्व का सबसे बड़ा कोयला उत्पादक है कोल इंडिया 70 मिलियन टन से 475 मिलियन टन हुआ उत्पादनराष्ट्रीयकरण के बाद कोयला मजदूरों के जीवन स्तर सुधराअप्रैल 2011 में कोल इंडिया को मिला महारत्न कंपनी का दर्जा एक नवंबर 1975 को हुआ था कोल इंडिया का गठन कोल इंडिया के स्थापना दिवस पर विशेषबेरमो फोटो जेपीजी 31-1 कोल इंडिया से संबंधित तसवीरराकेश वर्मा, बेरमो आज कोल इंडिया अपना स्थापना दिवस मना रहा है. राष्ट्रीयकरण से पूर्व जहां कोल इंडिया में मात्र 70 मिलियन टन कोयले का उत्पादन होता था, वहीं फिलहाल उसका उत्पादन 475 मिलियन टन (2015-16) हो गया है. पब्लिक सेक्टर के क्षेत्र में आज कोल इंडिया पूरे विश्व में सबसे ज्यादा कोयला उत्पादन करनेवाली कंपनी है. पूरे देश में अपने उत्पादन का 81 फीसदी योगदान ऊर्जा के क्षेत्र में दे रहा है. कोल इंडिया में भारत सरकार का 90 फीसदी शेयर है. सुधरी श्रमिकों की स्थिति : कोयला मंत्रालय, भारत सरकार से संचालित तथा अप्रैल 2011 में महारत्न कंपनी का दर्जा प्राप्त यह कंपनी भारत के आर्थिक बाजार में आज पाचवां सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण हो गयी है. भारत में ऊर्जा संबंधी जरूरतों को पूरा करने के लिए 70 के दशक में कोयला उद्योग का राष्ट्रीयकरण किया गया. राष्ट्रीयकरण से पूर्व खानगी मालिक काफी खराब तरीके से प्राकृतिक संसाधनों का दोहन कर रहे थे. राष्ट्रीयकरण के बाद काफी वैज्ञानिक तरीके से देश की मांग के मुताबिक कोयला खनन शुरू हुआ. खानगी मालिकों के समय कोयला मजदूरों का काफी शोषण होता था. राष्ट्रीयकरण के बाद कोलकर्मियों का जीवन स्तर सुधरा. रोजगार के अवसर बढ़े. देश के स्टील व पावर प्लांटों में प्राइम कोकिंग कोल मांग के अनुसार आपूर्ति करने में कोल इंडिया सक्षम हुआ. दो चरणों में हुआ था राष्ट्रीयकरण : 1970 के दशक मेंं देश की प्रधानमंत्री स्व इंदिरा गांधी ने दो चरणों में कोयला उद्योग का राष्ट्रीयकरण किया था. 1972 में 226 कोकिंग कोल माइंस का (बीसीसीएल से) तथा 711 नन-कोकिंग कोल माइंस का (कोल माइंस ऑथोरिटी लि.) से राष्ट्रीयकरण किया गया. एक नवंबर 1975 को कोल इंडिया (सीआइएल) का गठन किया गया. 1975 से 2010 तक कोल इंडिया में भारत सरकार की सौ फीसदी साझेदारी हो गयी. अक्तूबर 2010 में कोल इंडिया ने प्रति शेयर 245 रुपये की दर से 10 फीसदी शेयर बेचकर 24 हजार करोड़ रुपया अर्जित किया. यह आइपीओ में भारत का दूसरा सबसे बड़ा संग्रह था. कोल इंडिया का फिलहाल आठ राज्यों में 81 माइनिंग एरिया है. कुल 470 कोल माइंस में 164 ओसी,75 यूजी तथा 31 ओसी व यूजी मिक्सड है. वर्ष 2012-13 में ओसी माइंस से 91.65 फीसदी तथा यूजी माइंस से 8.35 फीसदी कोयले का उत्पादन हुआ हुआ था. कोल इंडिया में कुल 17 कोल वाशरी भी है. इसमें 12 कोकिंग कोल वाशरी तथा पांच नन-कोकिंग कोल वाशरी है. कोल इंडिया में करीब दो सौ अन्य इस्टैब्लिशमेंट हैं, जिसमें वर्कशॉप तथा अस्पताल शामिल हैं.कभी था सात लाख मैन पावर : राष्ट्रीयकरण के वक्त कोल इंडिया का मैन पावर सात लाख हुआ करता था. आज की तारीख में मैन पावर घट कर 3.25 लाख पर आ गया है. आउटसोर्स में काम करनेवाले ठेका मजदूरों की भी संख्या लगभग तीन लाख के आसपास है. कोल इंडिया की अनुषंगी इकाई बीसीसीएल में 61,698, सीसीएल में 48,126, इसीएल में 74,276,एमसीएल में 22065, एनसीएल में 16073, डब्लूसीएल में 73,718, सीएमपीडीआइएल में 3142, एनइसीएल में 2376, डांकुनी कोल कंप्लेक्स में 551 तथा कोल इंडिया मुख्यालय कोलकाता में कुल मैन पावर 941 मिलाकर कोल इंडिया का मैन पावर 357,926 है.मंडरा रहे संकट के बादल : जिस कोल इंडिया का 70 के दशक में राष्ट्रीयकरण हआ, आज वही कोल इंडिया पुन: निजीकरण की ओर जा रहा है. कोल इंडिया के पुनर्गठन की तैयारी चल रही है. कोल इंडिया का विनिवेश लगातार जारी है. कोल विदेश के तहत विदेशों में कोल इंडिया माइंस खोल रहा है. तेज गति से आउटसोर्सिंग शुरू हो गयी है. श्रम कानूनों में संशोधन की बात चल रही है. इन सवालों को लेकर कोयला उद्योग में कार्यरत मान्यता प्राप्त पांचों श्रमिक संगठन क्रमश: इंटक, एटक, एचएमएस, बीएमएस व सीटू एक मंच पर संघर्षरत है.स्थापना दिवस पर होंगे कई कार्यक्रम : एक नवंबर को कोल इंडिया के स्थापना दिवस के अवसर पर सीसीएल के बीएंडके, ढोरी व कथारा एरिया में भी कई कार्यक्रम होंगे. कार्यक्रमों में प्रभात फेरी, रन फॉर पीस, शपथ पत्र, झंडोत्तोलन, मिठाई वितरण, सांस्कृतिक कार्यक्रम आदि होंगे. स्थापना दिवस समारोह को लेकर तीनों एरिया कार्यालय को दुल्हन की तरह सजाया गया है.

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