बोकारो: 16 जून को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर घरेलू कामगारों के हक के लिए आंदोलन हुआ था. इसलिए यह दिन हमलोगों के लिए महत्वपूर्ण है. आज के समय में झारखंड में लगभग तीस लाख घरेलू मजदूर हैं, जो उपेक्षित हैं.
भारत सरकार की ओर से पारित असंगठित कामगार सामाजिक सुरक्षा अधिनियम 2008 के तहत झारखंड में अभी भी राज्य सामाजिक सुरक्षा बोर्ड का गठन नहीं होना दुर्भाग्यपूर्ण है. यह बातें सेक्टर चार मजदूर मैदान में घरेलू कामगारों को संबोधित करते हुए मुख्य अतिथि स्थानीय विधायक समरेश सिंह ने रविवार को कही.
झारखंड घरेलू कामगार यूनियन व राष्ट्रीय घरेलू कामगार संगठन के संयुक्त तत्वावधान में सेक्टर चार स्थित मजदूर मैदान में रविवार को अंतर राष्ट्रीय घरेलू कामगार दिवस का आयोजन किया गया. आयोजन में रांची, धनबाद, बोकारो जिले से सैकड़ों घरेलू कामगारों ने हिस्सा लिया.
विशिष्ट अतिथि अवधेश यादव ने कहा : राज्य में घरेलू कामगारों को सामाजिक सुरक्षा के लिए योजनाएं नहीं मिल रही है. झारखंड में 60 से 70 वर्ष की घरेलू कामगार जिनका कोई नहीं है. वे आज भी घरेलू काम कर रहे है. मौके पर विकास सिंह(यूनियन नेता), अलका, अरविंद्र सिंह, जय कुमार सिंह, उपेंद्र पाल, सुलोचना देवी, रश्मि संगीता टोप्पो, सुजीत समद आदि ने संबोधित किया.