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तीन बैंकों का कैश लूटने की अपराधियों ने बनायी थी योजना

खुलासा. पुलिस गिरफ्त में आये शातिर केशव व मुकेश ने किये कई खुलासे सीतामढ़ी : उत्तर बिहार व नेपाल में बैंक लूट व हत्या समेत कई संगीन वारदातों को अंजाम देने वाले केशव सिंह व उसके राइट हैंड मुकेश सिंह की गिरफ्तारी से सीतामढ़ी, मुजफ्फरपुर और शिवहर जिलाें के तीन बैंक का कैश वैन लूटने […]

खुलासा. पुलिस गिरफ्त में आये शातिर केशव व मुकेश ने किये कई खुलासे

सीतामढ़ी : उत्तर बिहार व नेपाल में बैंक लूट व हत्या समेत कई संगीन वारदातों को अंजाम देने वाले केशव सिंह व उसके राइट हैंड मुकेश सिंह की गिरफ्तारी से सीतामढ़ी, मुजफ्फरपुर और शिवहर जिलाें के तीन बैंक का कैश वैन लूटने से बच गया.
जिला पुलिस की सक्रियता के कारण लंबे समय से सीतामढ़ी से बाहर आपराधिक वारदातों को अंजाम देने से परहेज करने वाले केशव गिरोह ने जिला में ताबड़तोड़ बैंक लूट व व्यवसायियों को टारगेट कर लिया था. वह चालू माह में एक पर एक आपराधिक घटनाओं को अंजाम देने वाला था. केशव व मुकेश की गिरफ्तारी के बाद पुलिस यह मान कर चल रही है कि गिरोह की कमान अब शातिर अपराधी अरूण सिंह संभाल सकता है.
गिरोह का मास्टरमाइंड है मुकेश सिंह: पुलिस की गिरफ्त में आया मुकेश सिंह की भूमिका गिरोह में मास्टर माइंड के रूप में है. गिरोह में लूट की योजना व सदस्यों के लिए नियम वह तय करता था. लंबे समय से आपराधिक घटनाओं को अंजाम देने के बाद लगातार जगह बदलते रहने के कारण वह पुलिस की पकड़ में नहीं आ सका. केशव व मुकेश की सबसे खास बात यह थी कि उन दोनों के रहने का ठिकाना गिरोह के दूसरे सदस्यों को नहीं रहती थी. किसी तरह के योजना बनाने व अंजाम देने के लिए कोई जगह चयन कर सभी वहां एकत्रित होते थे. दोनों अपने रहने वाले ठिकाने से किसी को फोन नहीं करते थे. अगर फोन करना हो तो अपने ठिकाना से काफी दूर जाकर संपर्क करते थे.
मार्च क्लोजिंग पर बनायी थी योजना
पुलिस की पूछताछ में यह खुलासा हुआ है कि आपराधिक घटनाओं को अंजाम देकर भूमिगत हो जाना संगठन की खासियत रही है. यही कारण है कि लंबे समय से केशव सिंह पुलिस की आंखों में धुल झोंकता रहा है. उसका मानना था कि सीतामढ़ी जिले के अधिकांश शातिर अपराधियों के जेल में रहने के कारण जिला पुलिस की सक्रियता कम हुई है. इस कारण उसने जिले के बैंक व व्यवसायियों को चिह्नित करना शुरू कर दिया था. गिरोह का यह भी मानना था कि मार्च क्लोजिंग के कारण बैंक का ट्रांजेक्शन अधिक होता है. इस माह में लूट की घटना को अंजाम देने से अधिक रुपया हासिल होना मान रहे थे. यह भी योजना थी कि सोमवार को कैश वैन लूटा जाये. ताकि दो दिन की राशि हाथ लगे. इसके अलावा रीगा व बैरगनिया के कुछ बड़े व्यवसायियों से रंगदारी मांगने की योजना था. यह भी तय था कि रंगदारी नहीं मिलने पर हत्या कर खौफ बना कर दूसरे व्यवसायियों से रंगदारी वसूली जायेगी.
शिवहर-मुजफ्फरपुर में टारगेट पर थी आइसीआइसीआइ बैंक की कैश वैन
बाजपट्टी-पकटोला रोड में सेंट्रल व इलाहाबाद बैंक की कर रहे थे रेकी
केशव के खुलासे के बाद सक्रिय सदस्यों की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी शुरू
दोनों की गिरफ्तारी के बाद गिरोह की कमान अरुण के हाथ में!
खुद कर रहा था रेकी: पुलिस सूत्रों पर भरोसा करे तो केशव गिरोह ने शिवहर-मुजफ्फरपुर रोड में आइसीआइसीआइ बैंक व बाजपट्टी-पकटोला रोड में सेंट्रल व इलाहाबाद बैंक का कैश वैन लूटने की योजना बनायी थी. लूट की घटना को अंजाम देने के लिए केशव के अलावा संगठन के दूसरे सदस्य भी रेकी कर रहे थे. मुकेश ने यह खुलासा करते हुए यह भी बताया है कि इसी सिलसिले में उसे कोरलहिया में केशव सिंह से मिलना था, लेकिन वह पकड़ा गया.

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