समस्तीपुरः चर्चित गर्भाशय कांड के मामले में गुरुवार को सदर अस्पताल के ओपीडी कक्ष में मरीजों की जांच फिर से करायी गयी. शहर के माला नर्सिग होम से जुड़े मरीजों को ही बुलाया गया था. इसके तहत समाचार प्रेषण तक मात्र चार मरीज ही मेडिकल बोर्ड के समक्ष उपस्थित हो सका. सीएस डॉ. अनिल कुमार चौधरी की अध्यक्षता में गठित जांच टीम में स्त्री रोग विशेष डॉ. पुष्पा रानी, सर्जन डॉ. प्रशांत कुमार, डॉ. एके गुप्ता, सदर अस्पताल के उपाधीक्षक डॉ. श्याम मोहन दास एवं आइसीआइसीआइ लोम्बार्ड के चिकित्सक डॉ. संजय कुमार शामिल थे.
जिला प्रशासन ने जांच से संबंधित मरीजों की सूची एवं उनके पूर्व में किए गए जांच रिपोर्ट सहित मरीजों के आरोपों से संबंधित कागजात भी मेडिकल बोर्ड को उपलब्ध करायी गयी. बोर्ड ने बारी बारी से मरीजों को बुलाया और पूछताछ किया. साथ ही बोर्ड के समक्ष उपलब्ध पूर्व के रिपोर्ट पर गहन चिंतन किया. इसके बाद मेडिकल बोर्ड ने उपस्थित मरीजों को फिर से अल्ट्रासाउण्ड कराने की सलाह दी. साथ ही एक मरीज को एक्स रे कराने की बात कही. सीएस ने कहा कि पूर्व के जांच रिपोर्ट का भी अध्यन किया गया है. फिर से अल्ट्रासाउण्ड कराया गया है. इनके जांच रिपोर्ट का भी अध्यन किया जाएगा. उन्होंने बताया कि बोर्ड के समक्ष तीन मरीजों ने ऑपरेशन के बाद भी दर्द होने की बात कही है. इन बिंदूओं पर भी जांच की जाएगी.शुक्रवार को जांच रिपोर्ट जारी कर दी जाएगी.
उपलब्ध नहीं था पर्याप्त पूफ्र
जांच के दौरान उपस्थित महिला अपने बारे में पर्याप्त परिचय पत्र उपलब्ध नहीं करा पायी. इसको लेकर मेडिकल बोर्ड के डॉक्टरों को भी परेशानी हुई. मरीज द्वारा उपलब्ध कराए गए परिचय पत्र के आधार पर ही जांच शुरू की गयी. उजियारपुर लोहागीर की गीता देवी ने जो स्मार्ट कार्ड जमा किया, वह उसके पति रामशंकर के नाम से था. वहीं वोटर कार्ड में गीता देवी के पति का नाम कारी झा अंकित था. गीता देवी ने कहा कि उसके पति का दो नाम था. बेला की रानी देवी ने कहा कि उसे न तो स्मार्ट कार्ड लाने को कहा गया और न तो अन्य प्रुफ, इस लिए कोई प्रुफ नहीं लायी है. बेझाडीह की कुसुमा देवी व धुरलख की पूनम देवी ने कहा कि वह केवल स्मार्ट कार्ड ही लायी है.