26.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Trending Tags:

Advertisement

बिहार में मुखिया और वार्ड सदस्यों की परेशानी बढ़ी, दो दिनों में ये टास्क नहीं किया पूरा तो पंचायत चुनाव लड़ना होगा मुश्किल

बिहार में पंचायत चुनाव में निर्वाचित जनप्रतिनिधियों को दोबारा चुनाव लड़ने की योग्यता की शर्त पूरी करने में महज तीन दिन शेष रह गये हैं. ग्राम पंचायतों के मुखिया और वार्ड सदस्यों के लिए 31 मार्च की समय -सीमा महत्वपूर्ण है. पंचायती राज विभाग ने साफ कहा है कि जिन पंचायतों के मुखिया या वार्ड सदस्यों द्वारा 31 मार्च तक ग्राम पंचायतों को दी गयी राशि का ऑडिट रिपोर्ट 31 मार्च तक नहीं सौंपी जायेगी, उनको अगले पंचायत चुनाव के लिए अयोग्य घोषित कर दिया जायेगा.

बिहार में पंचायत चुनाव में निर्वाचित जनप्रतिनिधियों को दोबारा चुनाव लड़ने की योग्यता की शर्त पूरी करने में महज तीन दिन शेष रह गये हैं. ग्राम पंचायतों के मुखिया और वार्ड सदस्यों के लिए 31 मार्च की समय -सीमा महत्वपूर्ण है. पंचायती राज विभाग ने साफ कहा है कि जिन पंचायतों के मुखिया या वार्ड सदस्यों द्वारा 31 मार्च तक ग्राम पंचायतों को दी गयी राशि का ऑडिट रिपोर्ट 31 मार्च तक नहीं सौंपी जायेगी, उनको अगले पंचायत चुनाव के लिए अयोग्य घोषित कर दिया जायेगा.

इसी प्रकार का निर्देश ग्रामीण नल जल योजना और पक्की -गली नाली योजना को पूरा नहीं करनेवाले वार्ड सदस्यों व पंचों को लेकर दिया गया है. जिन वार्डों में काम पूर्ण नहीं होगा वहां के जन प्रतिनिधियों को चुनाव के अयोग्य घोषित किया जायेगा. मुख्यमंत्री सात निश्चय योजना के तहत ग्राम पंचायतों को ग्रामीण पक्की गली-नाली योजना और हर घर नल का जल उपलब्ध कराने की राशि दी गयी. पंचायतों को 14 वित्त आयोग की अनुशंसा और पंचम राज्य वित्त आयोग की अनुशंसा पर पांच वर्षों तक राशि दी गयी है.

पंचायतों को दी गयी राशि का अभी तक विभाग के करीब 25 हजार करोड़ का उपयोगिता प्रमाणपत्र नहीं मिला है. ग्राम पंचायतों में पक्की गली-नाली व हर घर नल का जल योजना को पूरा करने की जिम्मेदारी वार्ड विकास एवं प्रबंधन कमेटी को सौंपी गयी है. इस कमेटी के अध्यक्ष वार्ड सदस्य को बनाया गया है, जबकि उपाध्यक्ष का पद संबंधित वार्ड से निर्वाचन ग्राम कचहरी के पंच को बनाया गया है.

Also Read: बिहार में अब फास्टैग की मदद से दबोचे जाएंगे शराब तस्कर, बंगाल चुनाव के कारण झारखंड बना तस्करी का मुख्य मार्ग

राज्य में एक लाख 14 हजार वार्ड हैं . पंचायती राज विभाग को इसमें 56 हजार से अधिक वार्डों में मुख्यमंत्री सात निश्चय योजना को पूरा करने की जिम्मेदारी गयी है, जबकि शेष वार्डों में पीएचइडी द्वारा योजना का क्रियान्वयन कराया जा रहा है. विभाग इन दोनों योजनाओं की समीक्षा में जुटा है. किस पंचायत के किन-किन वार्डों में पक्की गली-नाली योजना व हर घर नल की योजना अभी तक अधूरी है. साथ ही सभी 8386 ग्राम पंचायतों को 31 मार्च तक पिछले पांच वर्षों के दौरान दी गयी राशि का ऑडिट कराकर उसका उपयोगिता प्रमाणपत्र जमा कराने की जिम्मेदारी दी गयी है.

विभाग इसकी गहन समीक्षा करायेगा. स्थानीय स्तर के जन प्रतिनिधियों से उम्मीद है कि वे निर्धारित समय पर अपने दायित्वों का निर्वहन सफलतापूर्वक पूरा कर लेंगे.

सम्राट चौधरी, पंचायती राज मंत्री

Posted By: Thakur Shaktilochan

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें