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251 ट्रेनिंग कॉलेजों में मात्र नौ को ही नैक की मान्यता

लापरवाही. बिना नैक मान्यता के बीएड कालेजों में चल रही पढ़ाई कॉलेजों को नैक का एक्रिडिएशन लेना अब अनिवार्य है. नयी शिक्षा नीति में बीएड के साथ-साथ डीएलएड संस्थानों को भी ग्रेडिंग लेनी होगी. पटना : राज्य के सरकारी और निजी 251 टीचर ट्रेनिंग कॉलेजों में से मात्र नौ को ही नैक की मान्यता मिली […]

लापरवाही. बिना नैक मान्यता के बीएड कालेजों में चल रही पढ़ाई
कॉलेजों को नैक का एक्रिडिएशन लेना अब अनिवार्य है. नयी शिक्षा नीति में बीएड के साथ-साथ डीएलएड संस्थानों को भी ग्रेडिंग लेनी होगी.
पटना : राज्य के सरकारी और निजी 251 टीचर ट्रेनिंग कॉलेजों में से मात्र नौ को ही नैक की मान्यता मिली है. एक तरफ जहां बीएड कॉलेजों में एमएड की पढ़ाई शुरू करने के लिए नैक की मान्यता की अनिवार्यता की गयी है. वहीं, नयी शिक्षा नीति के अनुसार सभी बीएड कॉलेजों को नैक की ग्रेडिंग लेनी आवश्यक होगी. बीएड के साथ-साथ डीएलएड चलाने वाले संस्थानों को भी नैक की मान्यता लेनी होगी. इसके लिए सभी संस्थानों को अपने संसाधनों को पूरे करने होंगे. सभी ट्रेनिंग कॉलेजों को आधारभूत संरचना को दुरुस्त करना होगा.
बिल्डिंग, कमरे के साथ-साथ लैब और लाइब्रेरी भी विकसित करनी होगी. प्राइवेट टीचर ट्रेनिंग कॉलेजों में शिक्षकों की गुणवत्ता को देखी जायेगी. सरकार को ऐसी सूचना मिली थी कि कम योग्यता वाले शिक्षक ट्रेनिंग कॉलेजों में छात्र-छात्राओं को पढ़ा रहे हैं. साथ ही वे दूसरे जगह पर भी काम करते हैं. ऐसे में सरकारी के साथ-साथ निजी ट्रेनिंग कॉलेजों में कार्यरत शिक्षकों के बैंक एकाउंट को आधार नंबर से लिंक किये जाने का आदेश दिया गया था.
पटना : राज्य के 30,360 मिडिल स्कूलों में से करीब 19 हजार मिडिल स्कूलों में प्रधानाध्यापक नहीं हैं. इन स्कूलों में प्रभारी प्रधानाध्यापक के जरिये काम-काज हो रहा है. स्कूल के वरीय शिक्षक को प्रभारी प्रधानाध्यापक तो बनाया जा रहा है, लेकिन वे सिर्फ शैक्षणिक व अन्य काम देख रहे हैं.
स्कूल का वित्तीय काम नजदीक के मिडिल स्कूल के प्रधानाध्यापकों के जिम्मे रखा गया है. राज्य के मध्य विद्यालयों के प्रधानाध्यापकों के पद प्रोन्नति से भरे जाते हैं. इसमें पुराने वेतनमान वाले नियमित शिक्षकों की ही प्रधानाध्यापक पद पर प्रोन्नति की जाती है. 2014 से राज्य भर में इस प्रोन्नति पर रोक लगी हुई थी, लेकिन इसी साल प्रोन्नति से इन पदों को भरे जाने पर सहमति बन गयी है.
इसमें नियोजित शिक्षकों को प्रधानाध्यापक नहीं बनाया जायेगा. नियोजित शिक्षक लगातार प्रोन्नति की मांग कर रहे हैं. मिडिल स्कूलों में प्रधानाध्यापक के पद पर प्रोन्नति के बाद शिक्षकों की प्रोन्नति होने पर उनके पे ग्रेड में बढ़ोतरी होती है. मिडिल स्कूलों में वर्तमान में मैट्रिक-इंटर शिक्षकों को 9300-34500 का वेतनमान के साथ-साथ 4200, 4600 व 4800 का ग्रेड पे मिलता है.
वहीं, स्नातक शिक्षकों को 9300-34500 का वेतनमान के साथ-साथ 4600, 4800 व 5400 का ग्रेड पे मिलता है. मध्य विद्यालय के प्रधानाध्यापक बनने पर 9300-34500 का वेतनमान के साथ-साथ 4800 व 5400 का ग्रेड पे मिलेगा. राज्य के 40,254 प्राथमिक स्कूलों में स्कूल के वरीय शिक्षक ही प्रधान शिक्षक होते हैं.

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