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बिना निबंधन दौड़ रहा इ-रिक्शा, इ-रिक्शा से हादसा तो नहीं होगी एफआइआर

पटना: बिना अता-पता के सड़क पर इ- रिक्शा दौड़ रहा है. अगर इ-रिक्शा से कोई दुर्घटना कर निकल जाये जाये, तो न तो रिक्शा का पता चल पायेगा व न ही उसे चलानेवाले ड्राइवर का. इ-रिक्शा पर न तो निबंधन नंबर, ड्राइवर का लाइसेंस नंबर अंकित नहीं होने से उसकी पहचान करना मुश्किल हो जायेगा. […]

पटना: बिना अता-पता के सड़क पर इ- रिक्शा दौड़ रहा है. अगर इ-रिक्शा से कोई दुर्घटना कर निकल जाये जाये, तो न तो रिक्शा का पता चल पायेगा व न ही उसे चलानेवाले ड्राइवर का. इ-रिक्शा पर न तो निबंधन नंबर, ड्राइवर का लाइसेंस नंबर अंकित नहीं होने से उसकी पहचान करना मुश्किल हो जायेगा. राज्य भर में इ-रिक्शा का प्रचलन काफी बढ़ा है. राजधानी पटना सहित बड़े शहरों में बैटरी से इ-रिक्शा खूब चल रहा है. इस पर छह-छह सवारी ढोये जा रहे हैं.

लेकिन सवार होनेवाले यात्रियों की सुरक्षा की कोई गारंटी नहीं है. यात्रियों की सुरक्षा के ख्याल से ही इ-रिक्शा के निबंधन के लिए कानून में प्रावधान किया गया है. केंद्र सरकार ने मोटर वाहन एक्ट में संशोधन करते हुए इसके निबंधन कराने को अनिवार्य बनाया है. साथ ही इ-रिक्शा चलाने वाले ड्राइवर का भी ड्राइविंग लाइसेंस होना अनिवार्य है. इसके बावजूद निबंधन कराने के प्रति दिलचस्पी नहीं दिख रही है. स्थिति यह है कि राजधानी में 10 से 15 इ-रिक्शा चल रहा है, लेकिन एक का भी निबंधन नहीं हुआ है. केंद्र से कानून निर्गत होने के बाद परिवहन विभाग ने आरटीए, डीटीओ को निर्देश जारी किया है.

बावजूद विभागीय अधिकारी इसे लेकर गंभीर नहीं है. केंद्र सरकार ने इ-रिक्शा व इ-गाड़ी को लेकर केंद्रीय मोटरयान नियम-1989 में संशोधन किया है. संशोधन के बाद केंद्रीय मोटरयान नियम- 2014 के तहत कार्रवाई करने का प्रावधान है. केंद्र सरकार से पत्र मिलने के बाद परिवहन विभाग ने सभी प्रमंडलीय आयुक्त, डीएम, एसपी को उसकी कॉपी भेजी है. विभाग ने सभी आरटीए, डीटीओ, एमवीआइ व प्रवर्तन तंत्र को 17 नवंबर, 2014 निर्देश जारी किया है.

निबंधन कराना अनिवार्य

कॉमर्शियल वाहन की तरह बैटरी से चालित इ-रिक्शा को भी निबंधन कराना है. सड़क पर चलने के लिए परमिट की आवश्यकता होगी. इ-रिक्शा चलानेवाले के पास कॉमर्शियल लाइसेंस रखना जरूरी है.

रोड टैक्स में छूट

इ-रिक्शा को निबंधन कराने में रोड टैक्स में 50 फीसदी की छूट मिलेगी. वैट छोड़ कर कीमत का सात फीसदी के हिसाब से कुल राशि का आधा लगेगा. कॉमर्शियल वाहन की तरह 15 साल के लिए रोड टैक्स देना है.

इ-रिक्शा का निबंधन कराना अनिवार्य है. केंद्र ने मोटर वाहन एक्ट में संशोधन करते हुए इ-रिक्शा को कॉमर्शियल वाहन की श्रेणी में रखा है. कॉमर्शियल वाहन की तरह 15 साल के लिए इ-रिक्शा की खरीद मूल्य का सात फीसदी रोड टैक्स के हिसाब से कुल राशि का आधा लगेगा. इ-रिक्शा चालक को लाइसेंस लेना अनिवार्य है. उन्होंने बताया कि इ-रिक्शा के निबंधन के संबंध में निर्देश जारी किया गया है.

विजय प्रकाश, प्रधान सचिव

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