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पटना : प्रदेश में नयी बांस नीति जल्द : सुशील मोदी
डिप्टी सीएम मोदी ने कहा, टास्क फोर्स का होगा गठन पटना : बिहार में जल्द नयी बांस नीति बनेगी. इसके लिए टास्क फोर्स का गठन किया जायेगा. इसका मकसद प्रदेश में किसानों की आय बढ़ाना है. बांस की खेती के इच्छुक किसानों और कारीगरों को अध्ययन और प्रशिक्षण के लिए असम, त्रिपुरा और मिजोरम भेजा […]
डिप्टी सीएम मोदी ने कहा, टास्क फोर्स का होगा गठन
पटना : बिहार में जल्द नयी बांस नीति बनेगी. इसके लिए टास्क फोर्स का गठन किया जायेगा. इसका मकसद प्रदेश में किसानों की आय बढ़ाना है. बांस की खेती के इच्छुक किसानों और कारीगरों को अध्ययन और प्रशिक्षण के लिए असम, त्रिपुरा और मिजोरम भेजा जायेगा. वहां जाकर वे खेती के बेहतर तरीके देख सकेंगे. इसे मार्केटिंग से जोड़ा जायेगा.
यह बिहार को नयी दिशा देगा व देश को नयी दिशा दिखाने में भी सहायता मिलेगी. नेशनल बैम्बू मिशन में कृषि विभाग शामिल था, लेकिन इसका कामकाज पर्यावरण व वन विभाग देखता था. अब मुख्यमंत्री से बात कर इसे पर्यावरण व वन विभाग के सुपुर्द कर दिया जायेगा. यह बातें प्रदेश के उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने कहीं.
वे शनिवार को पटना के होटल मौर्या में आयोजित बैम्बू कॉन्क्लेव को संबोधित कर रहे थे. सुशील कुमार मोदी ने कहा कि सरकार ने भागलपुर के टीएनबी कॉलेज कैंपस में टिश्यू कल्चर लैब बनाया है. इसकी क्षमता डेढ़ लाख सीडलिंग सालाना तैयार करने की है. इसे बढ़ाकर तीन से पांच लाख प्रतिवर्ष कर दिया जायेगा. सुपौल में टिश्यू कल्चर लैब बन गया है. अररिया में भी इसका भवन बनकर तैयार है.
वहां आठ से दस लाख पौधे प्रतिवर्ष तैयार किये जायेंगे. साथ ही वहां सीडलिंग डेवलपमेंट और बांस की खेती के लिए प्रशिक्षण केंद्र खोला जायेगा. इन तीनों लैब को स्थापित करने में जरूरत के अनुसार सरकार पैसे देगी, लेकिन शर्त यह है कि यह देश के बेहतरीन लैब में ये शामिल हों.
इन्होंने किया संबोधित
इस कॉन्क्लेव के उद्घाटन सत्र को केंद्रीय राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) सूक्ष्म, लघु व मध्यम उद्यम गिरिराज सिंह, कृषि विभाग के मंत्री प्रेम कुमार, पर्यावरण एवं वन विभाग के प्रधान सचिव त्रिपुरारी शरण और पर्यावरण एवं वन विभाग के प्रधान मुख्य वन संरक्षक डॉ डीके शुक्ला ने भी संबोधित किया.
नेशनल बैम्बू मिशन से एक लाख किसानों को रोजगार
पीएम के नेशनल बैम्बू मिशन की तारीफ करते हुये उपमुख्यमंत्री ने कहा कि इससे एक लाख किसानों को रोजगार मिलेगा. पीएम ने इसे ग्रीन गोल्ड कहा है. वित्तीय वर्ष 2018-19 और 2019-20 के लिए 1290 करोड़ रुपये के बजट की व्यवस्था की गयी है. इसमें केंद्र की 60 फीसदी और राज्य की 40 फीसदी हिस्सेदारी होगी. बांस को काटने और बेचने से प्रतिबंध हटा लिया गया है.
बैम्बू मिशन के तहत एक लाख हेक्टेयर इलाके में बांस का पौधरोपण किया जायेगा. पौधरोपण के समय यह ध्यान रखा जायेगा कि इसकी गुणवत्ता अच्छी हो जिससे कि इसका औद्योगिक इस्तेमाल किया जा सके. इस समय इसका बहुपयोगी इस्तेमाल होता है. बांस पर्यावरण के लिए बहुत उपयोगी है.
गिरिराज सिंह ने क्या कहा केंद्रीय राज्य
मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) सूक्ष्म, लघु व मध्यम उद्यम गिरिराज सिंह ने कहा कि पीएम को जानलेवा हमले की धमकी मिलना इस देश का दुर्भाग्य है. उस पर विपक्ष का बयान यह दिखाता है कि पीएम की लोकप्रियता से वह भयभीत है.
कांग्रेस कोई भी नीच हरकत कर सकती है. खैनी पर प्रतिबंध लगाने के सवाल पर उन्होंने इसका समर्थन किया. उन्होंने कहा कि केंद्र और राज्य सरकार को वन नीति में परिवर्तन करने की जरूरत है. बांस लगाने से बड़े पैमाने पर रोजगार पैदा होता है. इसे एनएच के दोनों तरफ लगाये जाने का काम स्थानीय लोगों को देना चाहिए.
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