सर्व शिक्षा अभियान के तहत सरकारी स्कूलों में गुणवत्तापूर्ण शिक्षा को लेकर सरकारी स्तर पर तेजी से प्रयास चल रहा है. लगातार अधिकारियों को दिशा-निर्देश भी मिल रहे हैं और तमाम योजनाएं भी बन रही हैं. अब विभाग ने बच्चों की बेहतर शिक्षा के लिए बच्चों को ही आगे लाने का निर्णय लिया है. इसके तहत स्कूलों में गठित मीना मंच व बाल संसद को क्रियाशील बनाने की तैयारी है. विभाग के अधिकारियों का कहना है कि मीना मंच व बाल संसद को सक्रिय करके शिक्षा की गुणवत्ता को लेकर चल रहे अभियान को धरातल पर उतार सकते हैं.
स्कूलों में गठित बच्चों के संगठन को अधिकारी जागरूक करेंगे. खासकर छात्र प्रतिनिधियों को जिम्मेदारी दी जाएगी कि अपने आस-पड़ोस के बच्चों को विद्यालय आने के लिए प्रेरित करें. इसके लिए बच्चों के साथ ही उनके अभिभावकों से भी बात करें. वहीं अंतिम घंटी में खेलकूद का आयोजन और पुस्तकालयों में पुस्तकों की उपयोगिता तय करने में भी इनकी भूमिका होगी. डीपीओ सर्व शिक्षा अभियान नीता कुमारी पांडेय ने बताया कि सभी अधिकारियों को यह निर्देशित किया गया है कि स्कूलों के अनुश्रवण में मीना मंच व बाल संसद की सक्रियता भी सुनिश्चित करेंगे.