22.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

एस्सेल ने छह माह में थमा दिया ढाई लाख का बिजली बिल

एस्सेल ने छह माह में थमा दिया ढाई लाख का बिजली बिल शोषण के शिकार लोग पहुंचे लोक अदालत अधिक मामले बिजली बिल से जुड़े थे डेढ़ सौ यूनिट का बिल भेज दिया था साढ़े तीन हजार महिला से एस्सेल कर्मियों ने नहीं लिया समझौता की राशि कार्यालय में चक्कर लगाने के बाद भी नहीं […]

एस्सेल ने छह माह में थमा दिया ढाई लाख का बिजली बिल शोषण के शिकार लोग पहुंचे लोक अदालत अधिक मामले बिजली बिल से जुड़े थे डेढ़ सौ यूनिट का बिल भेज दिया था साढ़े तीन हजार महिला से एस्सेल कर्मियों ने नहीं लिया समझौता की राशि कार्यालय में चक्कर लगाने के बाद भी नहीं सुधर रही स्थिति संवाददाता, मुजफ्फरपुर कुछ भी हो जाये एस्सेल के आदतों में सुधार नहीं होने वाला है. उपभोक्ता छह माह पहले कनेक्शन लिया था. एस्सेल ने उसे ढाई लाख रुपये का बिल थमा दिया. उपभोक्ता दौर लगा रहे हैं. लेकिन एस्सेल है कि सुनने का नाम नहीं ले रही है. शनिवार को राष्ट्रीय लोक अदालत में एस्सेल कंपनी के मनमानी के शिकार लोगों की भीड़ लगी थी. जिनकी पीड़ा कंपनी के कार्यालय में ठोकर खाने के बाद भी नहीं गई, उनको राष्ट्रीय लोक अदालत की तरफ रुख करना पड़ा था. दामाेदरपुर हाउसिंग कॉलोनी के आसिफ मसूद भी एस्सेल विद्युत वितरण के अधिकारियों के प्रताड़ना के शिकार हैं. अासिफ बताते हैं कि इसी साल पांच मई को बिजली का कनेक्शन लिया था. कई बार मीटर लगाने के लिए अधिकारियों के दरबार में गये, लेकिन कंपनी के अधिकारी उन्हें परेशान करते रहे. इस बीच, 10 दिसंबर को घर पर विजिलेंस टीम ने छापा मारा और शुक्रवार को 2,47,716 रुपये का बिल थमा दिया. सुधार के लिए एक बेंच से दूसरे बेंच तक दौड़ते रहे, लेकिन उनके मामले का निबटारा नहीं हो सका. शहर के शंकर सहनी आठ महीने पहले बिजली का कनेक्शन लिया था. अब तक उन्होंने केवल 150 यूनिटी की बिजली का उपयोग किया है. इस बात को एस्सेल के अधिकारी भी स्वीकार करता है, लेकिन इसके बाद भी विभाग ने 3,442 रुपये का बिल थमा दिया. मामला लोक अदालत में पहुंचा, तब विभागीय कर्मियों ने गलती मानीं. कहा, अब सही बिल जायेगा. कुछ ऐसा ही मामला वीरेंद्र कुमार का था. इनका आरोप है कि एस्सेल उन्हें हर महीने गलत बिल भेजकर मानसिक रूप से परेशान करता था. इसकी वजह से वह कई बार एस्सेल का चक्कर भी लगा चुके थे. कुछ ऐसा ही वाकया बैरिया की रहने वाली चंदा कुमारी का है. एस्सेल कर्मियों ने 3,341 रुपये का बिल भेजा था. बेंचों के सामने दो हजार पर समझाैता हुआ. एस्सेल कर्मी अरविंद कुमार ने दो हजार रुपये समझौता राशि जमा करने को कहा, लेकिन जब वह काउंटर पर जमा करने गयी तो वहां बैठे कर्मी ने बिजली का समझौता राशि लेने से इनकार कर दिया. उसने कर्मियों के सामने हाथ-पांव जोड़े, लेकिन उसे बैरंग लौटा दिया गया. जबकि चंदा के पति एसके सिंह फौज में हैं. आहत कर्मियों ने शिविर में किया हंगामा मुजफ्फरपुर. राष्ट्रीय लोक लोक अदालत शुरू होते ही एस्सेल के बेंच पर काफी भीड़ हो गयी. शिविर में कई बार सिस्टम में नेटवर्क की समस्या उत्पन्न हुई. इस कारण उपभोक्ता आक्रोशित हो गये. हंगामा शुरू हो गया. हंगामा शांत कराने के लिए मौजूद सुरक्षा कर्मियों को आगे आना पड़ा. एस्सेल के कार्य से नाराज कई महिलाएं भी हंगामा कर रहे लोगों के पक्ष में उतर गई. इस बीच आक्रोशित उपभोक्ता और एस्सेल कर्मियों के बीच बहस शुरू हो गई. उपभोक्ता एस्सेल कर्मी पर हाथ उठा लिया. सुरक्षाकर्मियों ने स्थिति को संभाल लिया. तब जाकर मामला शांत हुआ. इस बीच फजीहत झेल रहे एस्सेल कर्मी अपनी लैपटाॅप लेकर निकलते दिखे. इसके बाद बेंच के पास महिला व पुरुष सुरक्षाकर्मियों को लगा दिया गया. तब जाकर लोग थोड़ा शांत हुए. एस्सेल विद्युत वितरण के पीआरआे राजेश कुमार चौधरी ने बताया कि सिस्टम में प्रॉब्लेम के कारण काम में कुछ देरी हो गई थी. लेकिन, जैसे ही सिस्टम सुधरा काफी उपभोक्ताओं का काम हुआ. उपभोक्ताओं का बिल भी सुधार हुआ. सब लोग संतुष्ट थे.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें