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जेल में रची गयी थी डकैती की साजिश

मुजफ्फरपुर: अहियापुर थाना क्षेत्र के मिठनसराय गांव में 20 मई की रात हुई डकैती के तार खुदीराम बोस केंद्रीय कारा से जुड़े हैं. इस बात का खुलासा अहियापुर पुलिस के हत्थे चढ़े सकरा डिहुली निवासी मो. इरशाद व मीनापुर भाव छपरा निवासी शत्रुघ्न राम ने पूछताछ के दौरान किया. बताया कि डकैती की योजना जेल […]

मुजफ्फरपुर: अहियापुर थाना क्षेत्र के मिठनसराय गांव में 20 मई की रात हुई डकैती के तार खुदीराम बोस केंद्रीय कारा से जुड़े हैं. इस बात का खुलासा अहियापुर पुलिस के हत्थे चढ़े सकरा डिहुली निवासी मो. इरशाद व मीनापुर भाव छपरा निवासी शत्रुघ्न राम ने पूछताछ के दौरान किया. बताया कि डकैती की योजना जेल में बंद मिठन सराय निवासी दुखा मियां के पुत्र अब्दुल उर्फ अब्दुला उर्फ मो. मुस्लिम, सनिफ मियां के पुत्र मो. मंजूर व मीनापुर के जीतन राम ने बनायी थी. घटना को अंजाम देने के लिए चार सदस्यों की एक टीम बनायी गयी थी.
इसके बाद घटना को अंजाम दिया गया. इसके अलावा डकैतों ने कई अन्य राज पुलिस के समक्ष खोले. अहियापुर पुलिस ने दोनों को पूछताछ के बाद न्यायिक हिरासत में भेज दिया है.
इधर, प्रभारी एसएसपी विनय कुमार के आदेश पर अहियापुर पुलिस मामले में संलिप्त अन्य डकैतों की गिरफ्तारी के लिए सीतामढ़ी, शिवहर के अलावा अन्य जगहों पर छापेमारी कर रही है.
मिठनसराय की घटना
20 मई की रात दो दर्जन से अधिक डकैतों ने मिठन सराय निवासी मो. गुलाम रसूल के घर धावा बोल कर ढाई लाख नगद व उतने के ही आभूषण लूट लिये थे. इस मामले में गृहस्वामी ने अहियापुर थाना में 21 मई को प्राथमिकी दर्ज करायी थी. इसके आलोक में प्रभारी एसएसपी के निर्देश में थानाध्यक्ष चितरंजन ठाकुर, अनुसंधानक विश्वमोहन चौधरी, दारोगा रमण कुमार की टीम ने छापेमारी कर मिठन सराय से सकरा डिहुली निवासी मो. इरशाद को उसके बहनोई मो. लाल बाबू के घर से गिरफ्तार किया था व मो. इरशाद के बताने पर मीनापुर थाना पुलिस की मदद से डकैती में संलिप्त व मास्टर माइंड शत्रुघ्न राम को उसके गांव भाव छपरा से छापेमारी कर हिरासत में लिया था.
25 डकैत थे शामिल
घटना को अंजाम देने के लिए पच्चीस डकैतों की टीम बनायी गयी थी. इसमें शिवहर, सीतामढ़ी, गायघाट, मीनापुर, मोतीपुर, पानापुर (मीनापुर), अहियापुर के डकैतों को बुलाया गया था. रोचक यह है कि डकैतों ने घटना को अंजाम देने के लिए एक 60 वर्षीय डकैत को भी टीम में शामिल किया था. पुलिस के अनुसार उस वृद्ध की भी पहचान भी हो चुकी है.
अशोक के पास है लूट का पैसा
योजना के मुताबिक डकैती के बाद लूटा गया पैसा व आभूषण अशोक राम के पास रखना था. वहीं से हिस्से का बंटवारा होना था. लेकिन, डकैती के दो दिनों के बाद ही दो सदस्यों की गिरफ्तारी होने की वजह से पैसों व आभूषण को बांटा नहीं जा सका.

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