मुजफ्फरपुर: बीआरए बिहार विवि में स्पेशल परीक्षा के पेंडिंग रिजल्ट में सुधार में देरी के कारण सौ से अधिक छात्र-छात्राएं 26 दिसंबर से शुरू होने जा रहे स्नातक पार्ट थर्ड की परीक्षा में शामिल होने से वंचित हो सकते हैं.
मामला रिजल्ट में सुधार की प्रक्रिया में बदलाव के कारण फंस गया है. पहले पेंडिंग रिजल्ट में सुधार की जिम्मेदारी विवि में गठित स्पेशल सेल के पास थी, पर कुलपति डॉ पंडित पलांडे ने अब यह जिम्मेदारी परीक्षा विभाग को सौंप दी है. हालांकि सेल ने अभी तक विभाग के कर्मियों को टीआर की कॉपी नहीं सौंपी गयी है. ऐसे में रिजल्ट सुधार की प्रक्रिया बाधित है. स्नातक पार्ट थर्ड की परीक्षा फॉर्म भरने की आखिरी तारीख 16 दिसंबर निर्धारित है. रिटोटलिंग के लिए आवेदन देने वाले छात्रों के लिए फॉर्म भरने की आखिरी तारीख 20 दिसंबर निर्धारित है.
स्पेशल पार्ट वन व टू की परीक्षा का रिजल्ट गत 29 नवंबर को जारी हुआ था. इसमें सैकड़ों छात्रों का रिजल्ट पेंडिंग हो गया. इसका कारण टीआर की छपाई नहीं होना या फिर टीआर में परीक्षार्थी का नाम अंकित नहीं होना था. इसको लेकर छात्र-छात्रओं ने विवि में काफी हंगामा किया. बाद में एडमिट कार्ड की प्रतिलिपि के आधार पर विशेष टीम ने रिजल्ट सुधार की प्रक्रिया शुरू की. काफी संख्या में रिजल्ट सुधार का सुधार भी किया गया, पर आवेदन आने का सिलसिला जारी रहा. इस बीच 14 दिसंबर को कुलपति ने पेंडिंग सुधार की जिम्मेदारी सेल से वापस लेकर परीक्षा विभाग को दे दी. विभागीय सूत्रों की मानें तो सोमवार को पेंडिंग सुधार के लिए करीब डेढ़ सौ आवेदन विभाग को प्राप्त हुए हैं.
वोकेशनल में भी पेंडिंग रिजल्ट से छात्र परेशान
इधर, रविवार को जारी वोकेशनल पार्ट वन व टू के रिजल्ट में भी काफी संख्या में छात्रों के रिजल्ट पेंडिंग हैं. दर्जनों की संख्या में छात्र इस मामले में परीक्षा नियंत्रक से मिले. उन सभी के आवेदन रिजल्ट सुधार के लिए लिये गये हैं. देर शाम से ही सुधार की प्रक्रिया भी शुरू हो गयी है.
नहीं तैयार हुई टीआर की फेयर कॉपी
पूर्व में कॉपी की जांच व मार्क्स शीट जारी करने के बाद टेबुलेटर टीआर की फेयर कॉपी तैयार कर परीक्षा विभाग को सौंप देते हैं. लेकिन स्पेशल परीक्षा में रिजल्ट जारी होने के साथ ही टीम को पेंडिंग रिजल्ट में सुधार की जिम्मेदारी सौंप दी गयी. इस कारण उन्हें टीआर की फेयर कॉपी तैयार करने का मौका नहीं मिला. टीम के एक सदस्य की मानें तो रफ कॉपी में ही पेंडिंग सुधार के लिए आवेदन देने वाले छात्र-छात्रओं का नाम जोड़ कर उनके अंक चढ़ाये जा रहे हैं. इस पर विभाग के डिलिंग असिसटेंट का हस्ताक्षर अनिवार्य है. हस्ताक्षर के बाद ही फेयर कॉपी तैयार किया जायेगा. जब तक फेयर कॉपी नहीं बन जाती, टीआर विभाग को नहीं सौंपा जा सकता. इधर, परीक्षा नियंत्रक डॉ पंकज कुमार ने बताया कि पेंडिंग रिजल्ट की संख्या काफी कम है. मामले में मंगलवार को कर्मचारियों व सेल के सदस्यों के साथ बातचीत की जायेगी. समय रहते पेंडिंग रिजल्ट में सुधार हो जायेगा. जरू रत पड़ी तो फॉर्म भरने की तिथि बढ़ायी जा सकती है.