मुजफ्फरपुर: जिला कांग्रेस कमेटी के प्रभारी जिलाध्यक्ष विद्यानंद सिंह पर एक लाख रुपया रंगदारी का मांग करने का आरोप लगाते हुए फॉर्मर डेवलपर फाउंडेशन सोसाइटी के सचिव नवल किशोर पांडेय ने प्राथमिकी दर्ज करने के लिए नगर थाना में आवेदन दिया है. थाना में दिये गये आवेदन में श्री पांडेय ने बताया है कि तिलक मैदान में जो मकान बन रहा था. उसके वे किरायेदार है.
वे तत्कालीन जिलाध्यक्ष विनीता विजय से मई 2010 में 60 साल के लिए रजिस्टर्ड लीज एग्रीमेंट कराया था. जिसका किराया दो हजार प्रतिमाह के हिसाब से जिला कांग्रेस कार्यालय को देते आ रहे है. एग्रीमेंट से पहले 12 अप्रैल 2010 को 90 हजार रुपया जिला कार्यालय में जमा किया. 28 अप्रैल 2014 को भी चेक के माध्यम से 6 हजार रुपया. व 6 मई 2014 को चेक के माध्यम से 24 हजार रुपया दे चुका हूं. पिछले पांच दिसंबर को उक्त मकान का जीर्णोद्धार करवा रहे थे.
तब विद्यानंद सिंह बुला कर किराये के साथ-साथ अलग से रंगदारी के रुप में एक लाख रुपया देने को कहे. और यह चेतावनी भी दिये की यदि पैसा नहीं मिला तो केस कर काम भी बंद करवा देंगे. उसी दिन हमने 24 हजार रुपया कांग्रेस कमेटी के नाम चेक के माध्यम से जमा कर दिया. जिसका रसीद कार्यालय मंत्री से प्राप्त हुआ. अलग से रंगदारी के रुप में मांगे गये पैसा नहीं देने पर पुलिस को गलत सूचना दे कर जीर्णोद्धार का काम रोकवा दिया गया. श्री पांडेय ने विद्यानंद सिंह पर रंगदारी मांगे जाने का मामला दर्ज करते हुए. लीज का कागजात जांच कर काम चालू करने का आदेश देने का आग्रह किया. थानाध्यक्ष सुनील कुमार ने बताया कि आवेदन के आधार पर मामले की जांच की जा रही है. जांच के बाद उचित कार्रवाई की जायेगी. जरू रत पड़ने पर धारा 144 लगाया जायेगा.
विनीता विजय वन मैन शो
तिलक मैदान के जमीन विवाद की जांच करने पहुंचे कांग्रेस कमेटी के भू संपदा विभाग के सदस्य सकिलुर रहमान जब प्रेस वार्ता कर रहे थे. तो कांग्रेस के कई नेताओं ने कहा कि विनीता विजय वन मैन शो रही है. हमलोग कुछ नहीं. कोई भी बैठक होती थी तो हमलोगों को सूचना नहीं दी जाती थी. और कागज पर ही सभी प्रस्ताव पारित कर लिया जाता था. यह कहना था पूर्व जिला उपाध्यक्ष रामबाबू सिंह, केदार सिंह पटेल, प्रभात कुमार मुकुंद आदि नेताओं का. प्रेस वार्ता के दौरान चौधरी रासीद हुसैन, नूर आलम, कौश् चौधरी, मुमताज आलम, संजय सिंह, राजू राम के साथ ही सकिलुर रहमान के साथ आये, डा. दिनेश कुमार सिंह व असगर हुसैन भी उपस्थित थे.
कई जिलों में है जमीन पर विवाद : कांग्रेस नेता सकिलुर रहमान ने बताया कि बिहार के कई जिलों में कांग्रेस कमेटी की जमीन पर विवाद व कब्जा है. इन मामलों को ध्यान में रखते हुए 10 रोज पूर्व भू संपदा विभाग का गठन हुआ है. वह सभी जिलों में जा कर इसकी जांच करेंगे. और पार्टी की जमीन को मुक्त कराया जायेगा. मुजफ्फरपुर में कांटी, मीनापुर, औराई व देवरिया में जमीन पर अवैध कब्जा है.
2012 से नहीं मिल रहा भाड़ा
तिलक मैदान की जमीन पर तत्कालीन जिलाध्यक्ष रघुनाथ पांडेय ने दुकान बनवा कर उसे लीज पर दिया था. जिससे 25 हजार से अधिक मासिक किराया पार्टी कोस में आता है. हालांकि प्रभारी जिलाध्यक्ष विद्यानंद सिंह पूर्व उपाध्यक्ष रामबाबू सिंह, केदार पटेल आदि नेताओं के अनुसार 2012 से किराये की राशि पार्टी कोस में नहीं जा रहा है. जिन लोगों को दुकान किराये पर दिया गया है उनसे अग्रिम राशि भी जमा कराया गया था. लेकिन दुकान का किराया काफी कम है. और 10 साल बाद 10 प्रतिशत किराया बढ़ाने का प्रावधान है.
अवैध लीज तो पार्टी फंड में पैसा कैसे
कांग्रेस के प्रदेश नेता सकिलुर रहमान के अनुसार रघुनाथ पांडेय द्वारा लीज पर दिये गये दुकानों को अवैध बताया गया है जबकि उन दुकानों से वसूले जा रहे 25 हजार रुपये किराया. 1991 से ही पार्टी कोस में जमा किया जा रहा है. अब सवाल यह उठता है कि अवैध तरीके से लीज दिये गये जमीन के आमदनी से पार्टी कैसे पैसा ले रही है. आखिर 1991 से अब तक दोषी लोगों पर कार्रवाई क्यों नहीं कि गयी. या फिर उस लीज को पार्टी ने स्वीकृति प्रदान क्यों नहीं दिया.
कोई कब्जा नहीं कर सकता रामदयालु स्मृति भवन : शर्मा
भाजपा विधायक सुरेश शर्मा ने कहा कि रामदयालु स्मृति ट्रस्ट के नाम से 1946 में ही जमीन रजिस्ट्री किया गया. आचार्य जेवी कृपलानी भवन निर्माण का नींव डाले थे. उस समय छोटा सा भवन बनवाया गया था. 1980 के बाद लोगों से चंदा लेकर भवन का निर्माण कराया गया. कई विधायक व सांसद ने अपना फंड दिया. वर्षो से जमीन का रसीद ट्रस्ट के नाम से कटता आ रहा है. अभी इस ट्रस्ट के अध्यक्ष स्वतंत्रता सेनानी राम संजीवन ठाकुर है. ट्रस्ट के सदस्य होने के नाते मैं इसका सचिव हूं. श्री शर्मा ने कहा कि कोई रामदयालु स्मृति भवन पर दावा ठोक रहा है तो वह गैर जिम्मेदाराना है. यदि ऐसा करने का कोई कोशिश करता है तो तिलक मैदान की जमीन से भी बेदखल हो सकता है. कांग्रेस के पास तिलक मैदान का कोई कागजात नहीं है. सिर्फ व्यवहारिक रुप से यह कांग्रेस का है. लेकिन रामदयालु स्मृति ट्रस्ट के पास पुख्ता कागजात है.