मुजफ्फरपुर : छात्र कितने गुस्से में थे इसका अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि जब आरपीएफ इंस्पेक्टर व सुरक्षाकर्मियों को पहली बार भीड़ ने खदेड़ दिया, तो फिर इंस्पेक्टर व सुरक्षाकर्मियों को दोबारा जाने की हिम्मत नहीं हुई. एरिया मैनेजर जेपी त्रिवेदी के पहुंचने पर आरपीएफ इंस्पेक्टर वेद प्रकाश वर्मा जब दोबारा पहुंचे, तो अपना ड्रेस बदल लिया था.
हालांकि, इसके बाद भी उन्हें छात्रों ने पहचान लिया. तब वे किसी तरह भीड़ से निकल कर भागे. एरिया मैनेजर पर भी हमला की कोशिश की गयी. तब वे तुरंत रेल अधिकारी से आम यात्री बन गये. छात्र मानने को तैयार नहीं थे. इसके बाद एरिया मैनेजर को उपद्रवी छात्रों के साथ ट्रेन के इंजन पर चढ़ आंदोलन में शामिल होना पड़ा. उन्होंने ने भी छात्रों के साथ हो-हल्ला किया. फिर किसी तरह वे वहां से जान बचा कर भागे. यही हाल रेलवे के अन्य अधिकारियों की भी रही. उनके मोबाइल पर जब वरीय अधिकारी कॉल आता था. तब किसी तरह उल्टा-सीधा जवाब देते हुए वहां से निकलते थे.