कद्दू भात के इस पर्व को पुरनका संझैती के नाम से भी जाना जाता है
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श्रद्धालुओं ने सपरिवार ग्रहण किया कद्दू-भात, अन्य को भी बांटे
कद्दू भात के इस पर्व को पुरनका संझैती के नाम से भी जाना जाता है जमुई : नहाय खाय के साथ लोक आस्था का चार दिवसीय महान पर्व छठ मंगलवार को प्रारंभ हो गया. छठ पूजा के प्रथम दिन छठ व्रतियों ने नहा धोकर मिट्टी-लोहा के चूल्हा पर लकड़ी व गोयठा से अपने अपने घरों […]
जमुई : नहाय खाय के साथ लोक आस्था का चार दिवसीय महान पर्व छठ मंगलवार को प्रारंभ हो गया. छठ पूजा के प्रथम दिन छठ व्रतियों ने नहा धोकर मिट्टी-लोहा के चूल्हा पर लकड़ी व गोयठा से अपने अपने घरों में नियम व निष्ठापूर्वक अरबा चावल, चना की दाल, कद्दू की सब्जी, सेंधा नमक डाल कर कद्दू भात का प्रसाद तैयार किया व पूरे परिवार के साथ ग्रहण किया तथा आस पास के लोगों को भी न्योता देकर प्रसाद ग्रहण करने को कहा. बताते चलें कि कद्दू भात के इस पर्व को पुरनका संझैती के नाम से भी जाना जाता है और छठ पूजा के समय लोगों के द्वारा प्रसाद मांग कर ग्रहण किया जाता है. यह हिंदुओं का सबसे बड़ा त्योहार है और छठी मइया की महिमा का जितना अधिक बखान किया जाये वह उतना ही कम होगा.
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