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महिला थानाध्यक्ष कुमकुम कुमारी निलंबित

गोपालगंज : छेड़खानी से आहत होकर छात्रा के खुदकुशी करने के मामले में पुलिस कप्तान निताशा गुरिया ने महिला थानाध्यक्ष कुमकुम कुमारी को निलंबित कर दिया है. सदर एसडीपीओ नरेश पासवान की जांच के बाद यह कार्रवाई की गयी है. महिला थानाध्यक्ष पर पीड़िता के परिजनों के साथ थाने में अभद्र भाषा का प्रयोग करने […]

गोपालगंज : छेड़खानी से आहत होकर छात्रा के खुदकुशी करने के मामले में पुलिस कप्तान निताशा गुरिया ने महिला थानाध्यक्ष कुमकुम कुमारी को निलंबित कर दिया है. सदर एसडीपीओ नरेश पासवान की जांच के बाद यह कार्रवाई की गयी है.

महिला थानाध्यक्ष पर पीड़िता के परिजनों के साथ थाने में अभद्र भाषा का प्रयोग करने का आरोप है. एसपी ने ‘प्रभात खबर’ को बताया कि महिला थानाध्यक्ष ने शिकायत करने आये परिजनों के साथ सही तरीके से बात नहीं की थी.
जांच में दोषी पाये जाने पर निलंबित की गयी हैं. महिला थानाध्यक्ष के निलंबित होने के बाद फिलहाल किसी को प्रभार नहीं दिया गया है. एसपी ने कहा कि मांझा थाने में परिजनों की शिकायत पर प्राथमिकी दर्ज की गयी है.
पुलिस आरोपितों की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी कर रही है. फरार आरोपितों को जल्द ही गिरफ्तार कर लिया जायेगा. वहीं, घटना के बाद गांव में पुलिस ने चौकसी बढ़ा दी है.
गौरतलब है कि मांझा थाना क्षेत्र के जगरनाथा गांव की छात्रा से कोचिंग जाने के दौरान कुछ युवक छेड़खानी करते थे. नगर थाना के सरेया काली स्थान रोड में तीन अगस्त को छेड़खानी के दौरान छात्रा को धमकी दी गयी थी.
छात्रा के परिजनों ने चार अगस्त को महिला थाने में जाकर शिकायत की थी, लेकिन महिला पुलिस ने कार्रवाई करने के बदले मामले को दबाने के लिए परिजनों पर दबाव बनाया. उसी रात आरोपितों ने घर पर आकर छात्रा का अपहरण करने की धमकी दी, जिससे आहत होकर चार अगस्त की रात में छात्रा ने सुसाइड नोट लिखकर खुदकुशी कर ली थी.
तीन आरोपित हैं नामजद : छात्रा के साथ छेड़खानी और अपहरण करने की धमकी देने के मामले में मांझा थाने में तीन युवकों के विरुद्ध नामजद प्राथमिकी दर्ज की गयी है. वहीं, दो से तीन अज्ञात युवक शामिल हैं. नामजद आरोपितों में जगरनाथा गांव के शाहजाद, फैयाज उर्फ आफताब, थावे के बेदू टोला का इरफान शामिल है.
छापेमारी करने पहुंची पुलिस, घर छोड़कर फरार मिले आरोपित
मांझा. मांझा थाने की पुलिस ने केस दर्ज करने के बाद आरोपितों की तलाश में छापेमारी शुरू कर दी है. सोमवार की रात में पुलिस जब आरोपितों के घर पर पहुंची तो बाहर से ताला लगा हुआ मिला. पुलिस के मुताबिक सभी आरोपित घर छोड़कर फरार हो गये हैं.
गिरफ्तारी के लिए सगे-संबंधियों और रिश्तेदारों के यहां छापेमारी की जा रही है. कहा जा रहा है कि फरार आरोपितों के विरुद्ध वारंट के लिए जल्द ही पुलिस कोर्ट में अर्जी देगी. वारंट के बाद कुर्की की कार्रवाई की जायेगी.
एसपी ने कहा, परिजनों के साथ अभद्र भाषा का हुआ था प्रयोग, इसलिए हुई कार्रवाई
युवकों की तलाश जारी
नामजद आरोपितों के फरार होने के बाद पुलिस जंगलिया के उन युवकों की तलाश में जुट गयी है, जिनका नाम बार-बार अपहरण करने की धमकी में लिया जा रहा था.
छात्रा के परिजनों ने थाने में आवेदन दिया है, उसमें भी इस बात का जिक्र किया गया है. नामजद आरोपितों ने छात्रा के साथ छेड़खानी करने और विरोध करने पर जंगलिया के युवकों को बुलाकर अपहरण करने की धमकी दी थी.
महिला थाने में पहुंचे थे आरोपित, नहीं किया गिरफ्तार
छात्रा की शिकायत के बाद पुलिस के बुलाने पर आरोपित चार अगस्त को ही महिला थाने पर पहुंच गये थे. महिला थाने में पहुंचे आरोपितों को देखकर परिजनों को लगा कि पुलिस इन्हें गिरफ्तार कर लेगी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ.
छात्रा की मां का कहना था कि महिला थानेदार ने आरोपितों के विरुद्ध कार्रवाई करने के बदले उसे बैठाकर सुलह कराने के लिए दबाव बनाना शुरू कर दिया. छात्रा और उसके परिजनों के इन्कार करने पर अभद्र भाषा का प्रयोग किया गया.
आरोपितों की ओर से झूठा मुकदमा कराने और खुद गवाह बनकर जेल भेजवाने की धमकी दी गयी, जिससे आहत होकर परिजन घर लौट गये. उस वक्त महिला थानाध्यक्ष कुमकुम कुमारी चाहती तो आरोपितों को गिरफ्तार कर सकती थीं.
छात्रा की मां ने कहा, बेटी को इंसाफ के लिए मिले आरोपितों को फांसी
मांझा : छेड़खानी से तंग आकर खुदकुशी करनेवाली छात्रा की मां ने कहा कि आरोपितों को फांसी की सजा मिलनी चाहिए, तभी बेटी को इंसाफ मिलेगा. पीड़ित महिला बेटी को खोने के गम में बार-बार तस्वीर दिखाकर बेहोश हो जा रही थी. आसपास की महिलाएं सांत्वना दे रही थी. परिजनों में गम और गुस्सा था.
पीड़ित छात्रा के पिता ने कहा कि पुलिस ने 48 घंटे का वक्त मांगा था, जो बुधवार को पूरा हो रहा है. बुधवार तक आरोपितों की गिरफ्तारी नहीं हुई, तो गुरुवार से एनएच 28 जाम किया जायेगा. सोमवार को एनएच 28 जाम कर हंगामा व प्रदर्शन के दौरान सदर एसडीपीओ नरेश पासवान ने दो दिनों के अंदर कार्रवाई करने का आश्वासन दिया था.
इसके बाद पीड़ित परिजन शांत हुए थे. परिजनों की ओर से सुरक्षा की भी मांग की गयी है. वहीं, गांव में मंगलवार को पूरे दिन सन्नाटा पसरा रहा. आसपास के घरों से लड़कियां पढ़ने के लिए स्कूल नहीं गयी. कोचिंग के लिए भी छात्राएं घर से बाहर नहीं निकली.
उच्च स्तरीय जांच की मांग
युवा शक्ति मंच ने छेड़खानी की घटना की निंदा की है. मंगलवार को जिला कार्यालय पर कार्यकर्ताओं ने छात्राओं की सुरक्षा को लेकर बैठक की और चिंता व्यक्त की. जिला संयोजक विकास आर्य ने कहा कि छात्रा की खुदकुशी का जिम्मेदार जिला प्रशासन है. पीड़िता की शिकायत पर पुलिस ने त्वरित एक्शन नहीं लिया.
अभद्र भाषा का प्रयोग किया, जिसके कारण छात्रा ने खुदकुशी करने का कदम उठाया. इस मामले की उच्च स्तरीय जांच कर दोषी अधिकारियों के विरुद्ध कार्रवाई करने की मांग की.
मौके पर प्रिंस, नितेश, अभिषेक, उपेंद्र, अमित आदि मौजूद थे.

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