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समस्याओं का समाधान वैज्ञानिक ढंग से होना आवश्यक : प्रोवीसी

दरभंगा : विज्ञान को न केवल पढ़ना चाहिए, बल्कि इसे अपने दैनिक जीवन में उतारना चाहिए. हमें अंधविश्वास से दूर रहकर अपने समस्याओं का समाधान वैज्ञानिक ढंग से ढूंढ़ना चाहिए. ये बातें ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय के प्रतिकुलपति प्रो सैयद मुमताजुद्दीन ने कही. उन्होंने कहा कि इस तरह के कार्यक्रम के माध्यम से लोगों में […]

दरभंगा : विज्ञान को न केवल पढ़ना चाहिए, बल्कि इसे अपने दैनिक जीवन में उतारना चाहिए. हमें अंधविश्वास से दूर रहकर अपने समस्याओं का समाधान वैज्ञानिक ढंग से ढूंढ़ना चाहिए. ये बातें ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय के प्रतिकुलपति प्रो सैयद मुमताजुद्दीन ने कही.
उन्होंने कहा कि इस तरह के कार्यक्रम के माध्यम से लोगों में जागृति लाया जा सकता है. मुख्य अतिथि माध्यमिक शिक्षा के डीपीओ दिनेश साफी ने कहा कि कार्यक्रम का उद्देश्य प्रत्येक विद्यालय में एक शिक्षक को तैयार करना है जो इसको बच्चों तक ले जा सकेंगे. विभिन्न सत्रों को संबोधित करते हुए दरभंगा चिकित्सा महाविद्यालय के डॉ एके गुप्ता ने स्थानीय बीमारियों को जलवायु से जोड़ा तथा इससे सुरक्षा के उपाय सुझाये.
एक आदर्श परियोजना की तैयारी में एमएलएसएम कॉलेज के प्रो प्रेममोहन मिश्र ने बच्चों में वैज्ञानिक सोच विकसित करने की जरूरत जतायी. मौसम एवं जलवायु का समाज एवं संस्कृति से संबंध को स्पष्ट करते हुए एमएआरएम कॉलेज के प्रधानाचार्य डॉ विद्यानाथ झा ने कहा कि दोनों एक-दूसरे से जुड़ा हुआ है. एमके कॉलेज के डॉ शारदानंद चौधरी ने कहा कि मौसम एवं जलवायु हमारे दिनचर्या को प्रभावित करते हैं. इसके अलावा अन्य सत्रों को रामनारायण राय, अजय कुमार मिश्र आदि ने संचालित किया.
स्वागत उद्बोधन होली मैरी इंटरनेशनल स्कूल के प्राचार्य शिबू वी राजू तथा संचालन श्याम नारायण यादव ने किया. विषय प्रवेश राष्ट्रीय बाल विज्ञान कांग्रेस के जिला समन्वयक राम बुझावन यादव रमाकर ने किया. कार्यशाला में जिले के उच्च विद्यालयों के शिक्षकों ने भाग लिया. इसमें मौसम एवं जलवायु की समझ के कई उपविषयों पर चर्चा हुई.

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