गोपालपुर : एसीएमओ डाॅ रामचंद्र प्रसाद के नेतृत्व में स्वास्थ्य विभाग की तीन सदस्यीय टीम ने बुधवार को गोपालपुर पीएचसी में प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डाॅ सुधांशु कुमार और इस्माइलपुर पीएचसी में प्रतिनियुक्त डॉ नीलम कुमारी के बीच चल रहे विवाद की जांच की. जांच दल में डाॅ मनोज कुमार चौधरी व डाॅ अशरफ रिजवी शामिल थे.
डॉ नीलम के आरोप : डॉ नीलम कुमारी ने प्रभारी पर अभद्र व्यवहार करने, जाति सूचक गाली देने और जान से मारने की धमकी देने का आरोप लगाते हुए सीएस को आवेदन देकर कार्रवाई की गुहार लगायी थी.
प्रभारी के आरोप : गोपालपुर पीएचसी के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ सुधांशु कुमार ने सीएस को आवेदन देकर डाॅ नीलम कुमारी पर मनमानी करने व वरीय पदाघिकारियों के निर्देश के बावजूद परिवार कल्याण आॅपरेशन के दिन बिना सूचना के गायब रहने का आरोप लगाया था. प्रभारी ने आवेदन में यह भी कहा था कि 16 मार्च को डॉ नीलम देर शाम सात बजे गोपालपुर पीएचसी आॅपरेशन के लिए पहुंचीं. उन्होंने आते ही कहा कि अगर मुझसे आॅपरेशन कराओगे, तो सभी मर जायेंगे. इसमें मेरी कोई जवाबदेही नहीं होगी. डॉ नीलम के विलंब से आने के कारण रंगरा पीएचसी के डॉक्टर को आॅपरेशन के लिए बुलाना पड़ा था. काफी समझाने पर भी डॉ नीलम ओटी में अपने बेटे के साथ मोबाइल पर गेम खेलती रहीं. इस कारण आॅपरेशन शुरू होने में काफी विलंब हुआ. डाॅ सुधांशु कुमार ने कहा है कि पूर्व में भी मैंने इनपर कार्रवाई के लिए सिविल सर्जन को आवेदन दिया था. डॉ नीलम संभावित कार्रवाई के डर से मुझ पर झूठा व मनगढंत आरोप लगा रही हैं. डॉ सुधांशु इस्माइलपुर पीएचसी के भी प्रभार में हैं.
कहते हैं एसीएमओ
एसीएमओ डाॅ रामचंद्र प्रसाद ने बताया कि प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी व डॉ नीलम कुमारी सहित सभी संबंधित कर्मियों व रोगियों के परिजनों से लिखित व मौखिक बयान लिये गये हैं. जांच रिपोर्ट सीएस को सौंपी जायेगी.