भागलपुर, लखीसराय, मुंगेर, कटिहार व खगड़िया में बाढ़ की स्थिति गंभीर
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आफत: शहर से गांव तक बाढ़ हुई विकराल
भागलपुर, लखीसराय, मुंगेर, कटिहार व खगड़िया में बाढ़ की स्थिति गंभीर भागलपुर : भागलपुर, मुंगेर, लखीसराय, कटिहार खगड़िया व समस्तीपुर में बाढ़ की स्थिति भयावह हो चुकी है. बक्सर में भी गंगा उफान पर है. कटिहार में भी गंगा खतरे के निशान तक पहुंच गयी है. खगड़िया में भी संकट बरकरार है. कहलगांव-लखीसराय मार्ग पर […]
भागलपुर : भागलपुर, मुंगेर, लखीसराय, कटिहार खगड़िया व समस्तीपुर में बाढ़ की स्थिति भयावह हो चुकी है. बक्सर में भी गंगा उफान पर है. कटिहार में भी गंगा खतरे के निशान तक पहुंच गयी है. खगड़िया में भी संकट बरकरार है. कहलगांव-लखीसराय मार्ग पर आवागमन बंद है ही, अब भागलपुर-पटना ट्रेन रूट पर भी खतरा बढ़ गया है. इधर, खगड़िया-कटिहार मेन रेलमार्ग पर चैधाबन्नी हॉल्ट के पास बाढ़ के कारण रिसाव की सूचना बाद रेल प्रशासन ने एहतियातन उपाय तेज कर दिये हैं. दूसरी ओर समस्तीपुर में डूबने से पांच और भागलपुर में एक लोग की मौत हो गयी.
इस बीच केंद्र सरकार ने राज्य सरकार की मांग के आधार पर एनडीआरएफ की चार टीमें उपलब्ध करायी हैं. इनमें दो टीमें वैशाली और एक-एक टीमें बेगूसराय और समस्तीपुर में तैनात करने का निर्देश दिया गया है. आपदा प्रबंधन विभाग के प्रधान सचिव ब्यास जी ने बताया कि राज्य सरकार ने केंद्र से एनडीआरएफ की पांच टीमें मांगी हैं. इधर, राज्य के आधा दर्जन नेशनल हाइवे और इतने ही राजकीय पथों पर पानी चढ़ जाने से आवागमन ठप है.
मुंगेर : लगातार बढ़ रहा गंगा का जलस्तर : मुंगेर जिले में बाढ़ का कहर जारी है. लगातार गंगा का जल स्तर बढ़ता जा रहा है और बाढ़ का पानी नये क्षेत्रों में प्रवेश कर रहा है. मंगलवार को यहां गंगा खतरे के निशान से 82 सेंटीमीटर ऊपर पहुंच गयी. केंद्रीय जल आयोग के अनुसार यहां जल स्तर 40.15 मीटर पहुंच गया है, जबकि डेंजर लेवल 39.33 है. एनएच-80 पर नौवागढ़ी, कल्याणपुर, घोरघट बंगाली टोला के पास पानी का बहाव हो रहा है. फलत: मुंगेर-भागलपुर सड़क संपर्क भंग हो चुका है. प्रशासनिक स्तर पर जो बाढ़ राहत शिविर खोले गये हैं, वहां लोगों को पर्याप्त भोजन व शुद्ध पेयजल नहीं मिल पा रहा है. इसके कारण मुंगेर नगर निगम के पास लाल दरवाजा के पीड़ितों ने सड़क जाम किया.
कटिहार : हाई लेवल के करीब पहुंची गंगा व कोसी : कटिहार. जिले के बरारीकुरसेला, अमदाबाद व मनिहारी के तीन दर्जन से
शहर से गांव…
अधिक पंचायत बाढ़ से प्रभावित हो चुकी है. मंगलवार को कोसी व गंगा नदी ने विकराल रूप धारण कर लिया. गंगा नदी काढ़ागोला में हाई लेवल से उपर होने को आतुर है. यहां हाइ लेवल से गंगा का जलस्तर मात्र 12 सेंटीमीटर नीचे है. यह स्थिति कोसी नदी की भी है. कोसी नदी कुरसेला में हाई लेवल से मात्र तीन सेंटीमीटर नीचे है. इन नदियों के जल स्तर में हुई वृद्धि के कारण कुरसेला, बरारी, मनिहारी प्रखंड के दर्जनों गांवों में बाढ़ का पानी प्रवेश कर गया है.
मुंगेर-भागलपुर सड़क संपर्क भंग, राहत शिविर को ले बाढ़ पीिड़तों ने किया जाम, आधे घंटे तक रोकी ट्रेन
भागलपुर व समस्तीपुर में डूबने से छह की गयी जान
बिहपुर में छह वर्षीय बच्ची व समस्तीपुर में पांच की मौत
मुंगेर में गंगा का जलस्तर 40.15 मीटर के पार, खतरे के निशान से 82 सेंटीमीटर ऊपर
कटिहार में बाढ़ के पानी से जलमग्न गांव.
रेलवे ट्रैक पर बढ़ा खतरा
जिले में बाढ़ की स्थिति काफी भयावह हो चुकी है. भागलपुर-सुलतानगंज और भागलपुर-कहलगांव सड़क मार्ग (एनएच-80) पहले से बंद है. शहर में भी तिलकामांझी भागलपुर विश्वविद्यालय से लेकर नरगा तक चार जगहों पर सड़क पर पानी बह रहा है. अब बाढ़ का खतरा रेलवे ट्रैक पर भी मंडरा रहा है.
सबसे खराब स्थिति अकबरनगर-रतनपुर रेलखंड पर है. यहां बाढ़ के पानी का दबाव ट्रैक पर बढ़ गया है. स्थिति यही रही, तो किसी भी समय भागलपुर-पटना रेलमार्ग पर परिचालन बंद हो सकता है. भागलपुर-लैलख रेलखंड पर भी बाढ़ का खतरा है. रेलवे के इंजीनियरिंग सेल द्वारा इस मार्ग को बाढ़ के पानी से बचाने के लिए राहत काम भी किया जा रहा है. उधर, नारायणपुर प्रखंड के अमरी-विशनपुर में बाढ़ के पानी में डूबने से एक छह वर्षीय बच्ची की मौत हो गयी.
रात में गिरावट, दिन में फिर चढ़ा जलस्तर
जिले के बाढ़ प्रभावित इलाकों के लोगों के लिए संकट अभी थमने का नाम नहीं ले रहा है़ सोमवार की रात से जहां गंगा समेत हरुहर व किऊल नदी के जलस्तर में कमी आनी शुरू हुई थी वहीं मंगलवार की दोपहर बाद से पुन: गंगा का जलस्तर बढ़ाने लगा. इससे एक बार फिर क्षेत्र के लोग दहशत में जीने को मजबूर हो रहे हैं.
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