भागलपुर : लोहिया पुल और जेल रोड की हालत लंबे समय से खराब है. मरम्मत के नाम पर केवल एस्टिमेट का रिवीजन पर रिवीजन और टेंडर पर टेंडर होता रहा है. एक बार फिर जेल रोड और लोहिया पुल के एस्टिमेट का रिवाइज होने जा रहा है. इससे दोनों की लागत बढ़ जायेगी. डेढ़ साल […]
भागलपुर : लोहिया पुल और जेल रोड की हालत लंबे समय से खराब है. मरम्मत के नाम पर केवल एस्टिमेट का रिवीजन पर रिवीजन और टेंडर पर टेंडर होता रहा है. एक बार फिर जेल रोड और लोहिया पुल के एस्टिमेट का रिवाइज होने जा रहा है. इससे दोनों की लागत बढ़ जायेगी. डेढ़ साल के दौरान जेल रोड का दूसरी बार एवं लोहिया पुल का तीसरी बार एस्टिमेट रिवाइज हो रहा है. एस्टिमेट रिवीजन से जेल रोड पर लागत 1.25 करोड़ एवं लोहिया पुल के मरम्मत पर लागत बढ़ कर दो करोड़ से ज्यादा हो जायेगी. जेल रोड के मरम्मत पर पहले तकरीबन 98 लाख खर्च होने थे. लोहिया पुल का मरम्मत पहले 68.58 लाख से होना था.
एस्टिमेट रिवीजन के बाद राशि बढ़ कर 1.72 करोड़ हो गयी थी. यह अब बढ़ कर दो करोड़ से ज्यादा हो जायेगी. टेंडर को लेकर भी यही हाल है. जेल रोड और लोहिया पुल का टेंडर पर टेंडर होता रहा मगर, यह फाइनल नहीं हो सका. एनएच विभाग लोहिया पुल का छठी बार एवं जेल रोड का पांचवीं टेंडर निकालने की तैयारी में है.
सिंगल टेंडर को नहीं दी मंजूरी, फंड सरेंडर, नये सिरे से फिर शुरू हुई प्रक्रिया : लोहिया पुल और जेल रोड दोनों का सिंगल टेंडर हुआ था और मरम्मत कराने की जब बारी आयी, तो प्रोविजन रहते इसको रद्द कर दिया गया. इसके चलते इस वित्तीय वर्ष के आखिरी माह में आकर दोनों योजनाएं अटक गयी. अब तो राशि भी सरेंडर हो गयी. यानी, काम कराने के मामले में विभाग पैसे वापस कर देता है. इससे योजनाओं की प्रक्रिया जहां से शुरू होती है, वहीं पर लौट आती है. फिर से नये सिरे से प्रक्रिया शुरू होती है. जैसा कि अगले वित्तीय वर्ष के लिए तैयारी हो रही है.
सड़क कम, गड्ढे ज्यादा आ रहे नजर, पुल भी डरा रहा राहगीरों को : जेल रोड और लोहिया पुल से हर दिन सैकड़ों गाड़ियां गुजरती हैं. मगर इस सड़क की हालत यह है कि इसमें सड़क कम गड्ढे ज्यादा नजर आ रहे हैं. पुल का भी यही हाल है. यह राहगीरों को डराने लगा है. सड़क और पुल का मरम्मत कराने की चल रही कोशिश इस वित्तीय वर्ष के आखिर में आकर फेल हो गयी.