बैंक के पासबुक को अपडेट करने की बजाय भेजी गयी खाता विवरणी को अंतिम माना गया. नतीजतन फर्जी खाता भेज खाता धारक को खाता में पैसा पर्याप्त होने का विश्वास दिला दिया. वहीं उस राशि को चुपके से निकाल लिया गया. इस गोरखधंधे में जाली दस्तावेज और जिलाधिकारी का फर्जी हस्ताक्षर का इस्तेमाल हुआ. जांच रिपोर्ट में इंडियन बैंक की पटल बाबू शाखा के प्रबंधक और महिला विकास सहयोग समिति लिमिटेड के पदधारी प्रथम दृष्ट्या दोषी प्रतीत होते हैं.
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उठता सवाल: गलती पर गलती, फिर भी बने रहे अनजान
भागलपुर: सरकार से भेजे मुख्यमंत्री नगर विकास योजना के फंड से विकास तो नहीं हुआ, मगर कई का विकास जरूर हो गया. पटल बाबू रोड स्थित इंडियन बैंक की शाखा में योजना का फंड जमा करा दिया गया. मगर प्रशासन के खाता से राशि की निकासी पर गलती पर गलती की गयी, फिर भी खाता […]
भागलपुर: सरकार से भेजे मुख्यमंत्री नगर विकास योजना के फंड से विकास तो नहीं हुआ, मगर कई का विकास जरूर हो गया. पटल बाबू रोड स्थित इंडियन बैंक की शाखा में योजना का फंड जमा करा दिया गया. मगर प्रशासन के खाता से राशि की निकासी पर गलती पर गलती की गयी, फिर भी खाता पर नजर रखनेवाले अंजान बने रहे.
डीएम के निर्देश पर जांच टीम गठित : डीएम आदेश तितरमारे ने चार अगस्त को एक शिकायत के आधार पर उप विकास आयुक्त अमित कुमार के नेतृत्व में तीन सदस्यीय जांच टीम से फर्जीवाड़े की जांच करायी. इसमें उप विकास आयुक्त अमित कुमार के अलावा अपर समाहर्ता(राजस्व) हरिशंकर प्रसाद व जिला भविष्य निधि पदाधिकारी चंदन कुमार शामिल थे.
न बैंक ने सूचना दी और न ही ऑडिट में ही कुछ सामने आया
थाने को दिये आवेदन में लिखा गया है कि जालसाजीपूर्ण षड्यंत्र द्वारा अनधिकृत रूप से सरकारी राशि के हस्तांतरण की सूचना न तो बैंक द्वारा जिला प्रशासन को दी गयी और न ही मार्च 2015 में महालेखाकार द्वारा किये गये ऑडिट में ही किसी प्रकार की प्रतिकूल टिप्पणी की गयी. इससे जाहिर होता है कि बैंक द्वारा जिला प्रशासन को अंधेरे में रखते हुए मांगे जाने पर जाली खाता विवरणी उपलब्ध करायी गयी. ऐसा देखते हुए इंडियन बैंक के तत्कालीन और वर्तमान शाखा प्रबंधक और सृजन महिला सहयोग समिति लिमिटेड के सभी पदधारकों के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज करने को कहा गया.
एसआइटी गठित, बैंक खाते सील : सरकारी पैसे के गबन के मामले की जांच के लिए एसएसपी मनोज कुमार ने सिटी डीएसपी शहरयार अख्तर के नेतृत्व में एसआइटी का गठन किया है. टीम में उनके अलावा इशाकचक थानाध्यक्ष इंस्पेक्टर रामएकवाल यादव, जगदीशपुर थानाध्यक्ष नीरज तिवारी, सबौर थानाध्यक्ष राजीव कुमार और एसआइ कौशल भारती शामिल हैं. सृजन के विभिन्न बैंकों के 10 खातों को सील कर दिया गया है.
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