दुखद. पुत्र को गरमी से परेशान देख कर घर में स्टैंड फेन लगा रहा था अनंत
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करंट लगने से युवक की मौत
दुखद. पुत्र को गरमी से परेशान देख कर घर में स्टैंड फेन लगा रहा था अनंत गोरैया निवासी 30 वर्षीय अनंत कुमार यादव अपने घर के सामने किराना का दुकान चलाता था. गुरुवार को घर में सोये अपने पांच वर्षीय पुत्र को गरमी से परेशान देख कर बच्चे के समीप पंखा लगाने गये. पंखा लगाने […]
गोरैया निवासी 30 वर्षीय अनंत कुमार यादव अपने घर के सामने किराना का दुकान चलाता था. गुरुवार को घर में सोये अपने पांच वर्षीय पुत्र को गरमी से परेशान देख कर बच्चे के समीप पंखा लगाने गये. पंखा लगाने के क्रम में उक्त युवक को करंट लग गया, जिससे वो पंखा में ही सटा रह गया.
बांका :फुल्लीडुमर थाना क्षेत्र के मिर्जापुर पंचायत अंतर्गत गोरैय गांव में गुरुवार को करंट लगने से एक युवक की मौत हो गयी. बताया जा रहा है कि युवक गुरुवार को अपना घर में स्टैंड फेन को लगा रहा था. इसी दौरान उसे करंट लग गयी. जानकारी के अनुसार 30 वर्षीय गोरैय गांव निवासी अनंत कुमार यादव अपने घर के सामने किराना का दुकान चलाता था. गुरुवार को घर में सोये अपने 5 वर्षीय पुत्र को गरमी से परेशान देख कर उन्होंने बगल में रखे पंखा को बच्चा के समीप लगाने गये. पंखा लगाने के क्रम में उक्त युवक को करंट लग गया,
जिससे वो पंखा में ही कुछ समय के लिए सटा रह गया. चिल्लाने की आवाज सुन कर पत्नी दौड़ी और लाइन को बंद किया, लेकिन पति की स्थिति बिगड़ता देख पत्नी ने स्थानीय लोगों के सहयोग से इलाज के लिए सदर अस्पताल लाया जहां चिकित्सक ने मृत घोषित कर दिया. इसकी सूचना बांका थाना को मिलते ही एसआइ रंधीर कुमार सदर अस्पताल पहुंचे और परिजनों का बयान के बाद शव को
पति को कुछ नहीं हुआ है, एक बार मुंह तो देखने दिजिए न…
अनंत घर का एकलौता पुत्र था. करीब 3 साल के उम्र में ही इनके पिता का निधन हो गया था. इसके बाद वो धीरे-धीरे घर में ही रह कर किराना दुकान चलाने लगा और इसकी कमाई से अपने परिवार का भरण पोशन कर रहा था. अनंत को दो पुत्र है जिसमें 5 वर्ष का आदित्य कुमार, डेढ़ वर्ष का आर्यण कुमार एवं 3 वर्ष की पुत्री सोनाक्षी कुमारी है. करंट लगने के बाद पत्नी खुशबू देवी व ग्रामीणों ने आनन-फानन में उसे इलाज के लिए सदर अस्पताल लाया. जहां चिकित्सक द्वारा मृत घोषित करते ही पत्नी दहाड़ मार कर रोने लगी. मृतक के पत्नी खुशबू को ऐसा लग रहा था कि पति को कुछ नहीं हुआ है वो नींद में है. इसे लेकर वो पगली के तरह अस्पताल में करते हुए कभी चिकित्सक तो कभी वेड पर पड़ा मरीज को जाकर कह रही थी कि पति को एक बार देखने दिजिए वो हम से बात करेंगे. लेकिन साथ में आये लोगों ने उसे बार-बार समझाते हुए मरजेंसी रूम से बाहर कर दे रहे थे. वहीं छोटे-छोटे तीनों बच्चा का भी रो-रो कर बुरा हाल था. बच्चा भी अपना पिता को आंख खोलने के लिए कह रहे थे. इधर मौत की सूचना गांव पहुंचते ही काफी संख्या में ग्रामीण व रिश्तेदार सदर अस्पताल पहुंच गये. जहां शव को देख कर लोग एक ही बात कर रहे थे कि घर का चिराग बुझा गया अब घर में रोशनी कौन देगा. हालांकि देर शाम में पोस्टमार्टम के बाद पुलिस ने शव परिजन के हवाले कर दिया. जिसके बाद परिजन ने शव को अपने घर ले गया. गांव में मातम का माहौल है.
बुझ गया घर का इकलौता िचराग
रिजनों का हुआ रोकर बुरा हाल.
किराना दुकान चला कर परिवार का करता था भरण पोषण
अब क्या होगा उसके परिवार का, कौन करेगा तीन छोटे-छोटे बच्चों की परवरिश. यह कहर रोये जा रही थी पत्नी
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