Advertisement
पटना से म्यांमार ले जायी जा रही 70 लाख रुपये की प्रतिबंधित केटामाइन दवा बरामद
पटना : बिहार में शराबबंदी के बाद अब नशे के रूप में प्रतिबंधित दवाओं का प्रयोग किया जा रहा है. इसका खुलासा उस समय हुआ, जब डीआरआइ पटना की टीम ने प्रतिबंधित दवा केटामाइन की एक बड़ी खेप बरामद की. यह पटना से कोलकाता के लिए जाने वाली बंगाल टाइगर नामक बस से बरामद की […]
पटना : बिहार में शराबबंदी के बाद अब नशे के रूप में प्रतिबंधित दवाओं का प्रयोग किया जा रहा है. इसका खुलासा उस समय हुआ, जब डीआरआइ पटना की टीम ने प्रतिबंधित दवा केटामाइन की एक बड़ी खेप बरामद की. यह पटना से कोलकाता के लिए जाने वाली बंगाल टाइगर नामक बस से बरामद की गयी है, जाे बस की छत पर दो बोरों में रखी गयी थी.
टीम ने उक्त माल के बुकिंग एजेंट से पूछताछ की तो यह जानकारी मिली कि उक्त दवाएं कोलकाता के लिए बुक करायी गयी थीं, लेकिन दवा के साथ कोई नहीं था. बताया जाता है कि दवा को कोलकाता से म्यामांर ले जाने की तैयारी थी. डीआरआइ के अधिकारियों के मुताबिक उक्त दवा की कीमत अंतरराष्ट्रीय बाजार में करीब 70 लाख रुपये है.
पटना. एक्सपायरी दवाओं के खेल के साथ ही ड्रग माफियाओं ने विदेशी शराब बनाने का भी गोरखधंधा शुरू कर दिया था. ड्रग निरीक्षक ने 40 पन्नों की एक रिपोर्ट एसएसपी मनु महाराज को सौंपी है और उसमें इस बात की भी जानकारी दी गयी है कि शराब के धंधे में लाभ को देख कर ड्रग माफिया विदेशी शराब भी बनाने लगे थे. जांच रिपोर्ट में अप्रैल माह में ड्रग माफिया रमेश पाठक के बिस्कोमान कॉलोनी स्थित कबाड़ीनुमा गोदाम में छापेमारी का जिक्र है और जांच के बाद बरामद होमियोपैथिक दवाओं के संबंध में जानकारी दी गयी है. वहां से 450 बॉक्स होमियाेपैथिक दवा की 450 एमएल की बोतलें बरामद की गयीं थीं.
यह होमियोपैथिक दवा प्रतिबंधित है. इस होमियोपैथिक दवा में 91 फीसदी अल्कोहल की मात्रा पायी गयी थी. काफी संख्या में इन बोतलों की बरामदगी के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि एक्सपायरी दवाओं के मेन्यूफैक्चरिंग डेट व एक्सपायरी डेट को बदल कर नये तरह का गोरखधंधा करने के साथ ही वहां शराब निर्माण का भी काम चल रहा था. इसके बाद यह भी बताया गया है कि इस तरह की होमियोपैथिक दवाओं से पूर्व में भी शराब निर्माण का मामला प्रकाश में आ चुका है.
कुरियर के माध्यम से विभिन्न राज्यों से सप्लाइ का है जिक्र
छापेमारी के दौरान बरामद दवाओं के कई डिब्बों पर कुरियर सर्विस के नाम अंकित थे. इसके साथ ही कुरियर की परची सटी थी. इन पर पुणे, कोलकाता, उत्तरप्रदेश, दिल्ली से माल पटना आने की जानकारी अंकित थी.
रिपोर्ट में इसके आधार पर ड्रग निरीक्षक ने एसएसपी को यह भी जानकारी दी है कि ड्रग माफियाओं का रैकेट पूरे देश में फैला है और कई राज्यों से कुरियर के माध्यम से एक्सपायरी दवाएं पटना मंगवायी जा रहीं थीं. इसके बाद उन एक्सपायरी दवाओं की मेन्यूफैक्चरिंग डेट व एक्सपायरी डेट को बदल कर पटना एवं बिहार के ग्रामीण इलाकों व अन्य राज्यों में सप्लाइ की जा रही है. इसके साथ ही जांच में कई एमआर के नाम भी सामने आये हैं, जिन्होंने एक्सपायरी व फिजिसियन सैंपल इन गिरोहों को सप्लाइ की.
Prabhat Khabar App :
देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए
Advertisement