12.5 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

संवेदनाशून्य क्यों हो गयी है भारत की जनता?

बिहार के मशरख में 23 बच्चों के मौत की घटना भारत के स्कूली इतिहास की सबसे बड़ी घटना है. इन मासूमों की मौत से जहां स्कूल प्रांगण में मातमी सन्नाटा पसरा है वहीं अपने नौनिहालों के असामयिक मृत्यु पर बेसुध परिवारवालों के लिए बिलखने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा है. पल्ला झाड़ मुआवजे की […]

बिहार के मशरख में 23 बच्चों के मौत की घटना भारत के स्कूली इतिहास की सबसे बड़ी घटना है. इन मासूमों की मौत से जहां स्कूल प्रांगण में मातमी सन्नाटा पसरा है वहीं अपने नौनिहालों के असामयिक मृत्यु पर बेसुध परिवारवालों के लिए बिलखने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा है.

पल्ला झाड़ मुआवजे की राजनीति आज अपनी पराकाष्ठा पर है, वहीं प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति को भी फुरसत नहीं कि इस हृदय विदारक घटना में अपनी गोद सूनी कर लेनेवाली माताओं की व्यथा पर उन्हें ढाढस बधा सकें. अलबत्ता कुरसी का गणित ही ऐसा है कि दिल दहला देनेवाली मौतों में आज सियासत ढूंढा जाता है.

अब प्रश्न है कि बड़े शहरों में बालात्कार, हत्या और भ्रष्टाचार जैसे मुद्दों को लेकर सियासतदारों की नींद हराम कर देनेवाली आम जनता 23 स्कूली बच्चों की मौत पर भी अब तक संवेदना शून्य क्यों है? इंडिया गेट पर जमा होनेवाली वह सैकड़ों की भीड़ आखिर कहां गुम हो गयी है? काली अंधेरी रातों में टिमटिमाते तारों सरीखी मोमबत्तियों की लौ से सजी रैलियों ने अब तक मीडिया को रौशन क्यों नहीं किया? क्या इसलिए कि यह बिहार की घटना है?

।। रवींद्र पाठक ।।

(जमशेदपुर)

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें