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परिवहन विभाग का प्रस्ताव, दो हेलमेट नहीं, तो दोपहिया वाहन का नहीं होगा निबंधन
संजय रांची : दोपहिया वाहन खरीदनेवालों को दो हेलमेट खरीदना होगा, तभी उनके वाहन का निबंधन होगा. यह प्रस्ताव सड़क सुरक्षा सेल ने परिवहन विभाग को दिया है. प्रस्ताव अभी विभागीय मंत्री के पास है. सेंट्रल मोटर व्हीकल रूल-1989 (संशोधित) की धारा 138 (4)(एफ) में यह प्रावधान किया गया है कि दोपहिया वाहनों के निबंधन […]
संजय
रांची : दोपहिया वाहन खरीदनेवालों को दो हेलमेट खरीदना होगा, तभी उनके वाहन का निबंधन होगा. यह प्रस्ताव सड़क सुरक्षा सेल ने परिवहन विभाग को दिया है. प्रस्ताव अभी विभागीय मंत्री के पास है. सेंट्रल मोटर व्हीकल रूल-1989 (संशोधित) की धारा 138 (4)(एफ) में यह प्रावधान किया गया है कि दोपहिया वाहनों के निबंधन के लिए हेलमेट जरूरी है.
ब्यूरो अॉफ इंडियन स्टैंडर्ड (बीआइएस) का हेलमेट होना चाहिए. दरअसल दोपहिया डीलरों को वाहन की बिक्री के वक्त ही हेलमेट अनिवार्य रूप से उपलब्ध कराया जाना है. राज्य सरकार एक के बजाय दो हेलमेट खरीद को अनिवार्य करने की सोच रही है. प्रस्ताव को कैबिनेट में भेजा जायेगा. महाराष्ट्र व तमिलनाडु सहित कई राज्यों में यह नियम लागू है.महाराष्ट्र सरकार ने भी दो हेलमेट की शर्त को निबंधन के लिए अनिवार्य बनाया है.
झारखंड में सड़क दुर्घटना में 85 फीसदी मौत का कारण : झारखंड में सड़क दुर्घटना से हर वर्ष औसतन करीब तीन हजार लोगों की मौत होती है.
परिवहन विभाग से संबद्ध सड़क सुरक्षा सेल ने वर्ष 2018 में जनवरी से दिसंबर के दौरान हुए कुल मौत का विश्लेषण किया था. उसकी रिपोर्ट के अनुसार, सड़क दुर्घटना में मरे 85 फीसदी दोपहिया वाहन चालकों व सवार ने हेलमेट नहीं पहना था. दरअसल, सबसे ज्यादा सड़क दुर्घटनाएं दोपहिया वाहनों से ही हो रही हैं. कुल दुर्घटनाओं में से 33 फीसदी मामले दोपहिया वाहनों के होते हैं. यातायात नियमों को तोड़ने के जो मामले पकड़ में आये हैं, उनमें से 86 फीसदी ओवर स्पीड (दोपहिया व चारपहिया वाहन दोनों) के हैं.
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