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पटना : सिपाही को गोली मारने के बाद उज्ज्वल ने मुचकुंद को दी थी फोन पर जानकारी

पटना : पटना बाईपास पर तीन दिसंबर को कांस्टेबल मुकेश कुमार को गोली मारने की जानकारी उज्ज्वल ने फोन कर कुख्यात अपराधी मुचकुंद उर्फ मुचकुन को दी थी. यह खुलासा मुचकुंद के पास से बरामद मोबाइल का सीडीआर निकालने के बाद हुआ. उसमें एक मोबाइल नंबर से तीन दिसंबर को कई बार बात हुई थी. […]

पटना : पटना बाईपास पर तीन दिसंबर को कांस्टेबल मुकेश कुमार को गोली मारने की जानकारी उज्ज्वल ने फोन कर कुख्यात अपराधी मुचकुंद उर्फ मुचकुन को दी थी. यह खुलासा मुचकुंद के पास से बरामद मोबाइल का सीडीआर निकालने के बाद हुआ. उसमें एक मोबाइल नंबर से तीन दिसंबर को कई बार बात हुई थी.
पुलिस ने मोबाइल नंबर का भी सीडीआर व लाेकेशन निकाला तो वह पटना बाईपास इलाके का ही निकला. मुचकुंद तीन दिसंबर को भी पटना में उज्ज्वल के साथ ही था. वह कुछ दिन स्टेशन गोलंबर के समीप एक होटल भी रहा.
बाद में गांधी मैदान के समीप स्थित स्वामी नंदन तिराहा के पास कमरा ले लिया और उसने नौबतपुर की ही एक प्रेमिका को भी बुला लिया. ताकि वे पति-पत्नी के रूप में आराम से होटल में रहें और किसी को शक नहीं हो. उसने अपनी दाढ़ी भी बढ़ा ली.
असली नाम से बुक कराया था कमरा : उसने अपने पुकारू नाम मुचकुंद के बजाय असली नाम अभिषेक होटल प्रशासन को बताया था. कागजात के रूप में अभिषेक के नाम से बने आधार कार्ड को जमा कराया था.
इसी बीच उसके गिरोह के दीपू, राहुल, किशन आदि पकड़े गये, तो उसे शक हुआ और प्रेमिका को नौबतपुर स्थित घर पर भेज दिया. इसके बाद वह होटल में बुधवार की रात रुका. इसी बीच उज्ज्वल ने भी उसे फोन कर दिया कि उन लोगों के तमाम ठिकानों पर पुलिस की छापेमारी हो रही है.
पुलिस को जानकारी हो चुकी थी कि उसके कहां-कहां ठिकाने हैं और किन-किन होटलों में अभिषेक के नाम का आधार कार्ड देकर रुकता है. साथ ही मुचकुंद की तीन-चार प्रेमिकाओं की भी जानकारी मिली. सभी प्रेमिकाएं नौबतपुर इलाके की ही थीं, जिनमें से एक प्रेमिका राजीव नगर इलाके में अपने परिवार के साथ रह रही थी.
प्रेमिका के घर की पुलिस ने कर ली थी रेकी
इधर, पुलिस ने उसको खोजने के लिए उसकी तमाम प्रेमिकाओं की रेकी कर ली थी, जिसमें से राजीव नगर वाली प्रेमिका अपने घर में नहीं थी और बाकी सभी अपने-अपने घरों में ही थीं. पुलिस को यह शक पुख्ता हो गया था कि उक्त प्रेमिका मुचकुंद के साथ ही है. इससे पुलिस को उस तक पहुंचने का रास्ता मिल गया था.
पुलिस प्रेमिका के मोबाइल की लोकेशन लेते हुए होटल के करीब पहुंच गयी थी. लेकिन प्रेमिका का मोबाइल मुचकुंद ने ऑफ करा दिया था. इसी बीच मुचकुंद ने प्रेमिका को बुधवार को ही घर भेज दिया और खुद जहानाबाद निकल गया.
वहां रात भर रहा और हथियार के साथ वीडियो भी बनायी. दूसरी ओर पुलिस ने राजीव नगर स्थित प्रेमिका के घर पर गुरुवार को दिन में छापेमारी की तो वह मिल गयी. इसके बाद काफी बात सामने आ गयी. मुचकुंद जहानाबाद से जब निकला, तो उसके साथ उज्ज्वल भी था. वे दोनों जगदेव पथ में रहने वाली एक प्रेमिका से मिलने के लिए वहां पहुंचे. लेकिन मुलाकात नहीं हुई.
इसके बाद गिरोह के एक सदस्य को बुलाया और उससे रंगदारी में वसूले गये कुछ पैसे लिये और
अंधेरा होने पर देर शाम बाइक से रूपसपुर होते हुए सोनपुर की ओर निकलने लगे. एसटीएफ की टीम लगातार
उसके मोबाइल का लोकेशन निकाल कर पीछे लगी थी और इस दौरान मुचकुंद और एसटीएफ के बीच मुठभेड़ हुई और उसे मार गिराया गया.
मोबाइल फोन खोलेगा कई राज, कई नेताओं के नंबर थे सेव
मोबाइल फोन मुचकुंद के तमाम कनेक्शन के राज को खोल देगा. उसमें नौबतपुर व बिहटा के कुछ स्थानीय नेताओं के साथ ही बड़े नेताओं के नंबर हैं. मुचकुंद के एक माह का मोबाइल फोन का सीडीआर निकाल कर छानबीन की जा रही है.
मोबाइल फोन में कई लड़कियों के साथ फोटो मिलीं
मोबाइल फोन को जब पुलिस ने खंगाला, तो उसमें कई लड़कियों के मोबाइल नंबर पुलिस को हाथ लगे. उनके साथ होटल के कमरों में लिये गये फोटाेग्राफ थे. इसके अलावा सिगरेट पीते हुए और व्हाट्सअप कॉलिंग कर रंगदारी मांगते हुए वीडियो भी मोबाइल फोन में मौजूद थे.
व्यवसायियों से वसूलता था लाखों रुपये
सूत्रों के अनुसार अपनी फरारी के दौरान भी मुचकुंद लगातार व्यवसायियों से रंगदारी मांग रहा था और वसूली भी कर रहा था.
मुचकुंद पटना में ही था और पुलिस उसे गोवा और चंडीगढ़ में कर रही थी तलाश
सूत्रों के अनुसार पुलिस को अभी तक जो जानकारी हाथ लगी है, उसके अनुसार वह पटना में ही कई दिनों से था और इस दौरान उसने कई व्यावसायियों से व्हाट्सअप कॉल करके रंगदारी भी मांगी थी.
पुलिस ने उन व्हाट्सअप कॉल के नंबरों को ट्रेस करने की कोशिश करती, तो वह चंडीगढ़, गोवा, दिल्ली का निकलता. इसके बाद पुलिस टीम उसे पकड़ने के लिए वहां रवाना हो जाती. जबकि मुचकुंद पटना में ही रह कर होटल बदल-बदल कर रह रहा था.
बिहार के बाहर का सिम, वीओआईपी का इस्तेमाल करता था मुचकुंद
नितिश, पटना : मुचकुंद काफी शातिर था और उसने पुलिस से बचने के लिए हर तकनीक का सहारा ले रखा था. उसके पास से बरामद वाई-फाई इसी की ओर संकेत करते हैं. वह पटना के बाहर के सिम के साथ ही वाई-फाई की मदद से वीओआईपी के माध्यम से कॉलिंग करता था.
इसी का नतीजा था कि उसकी लोकेशन पटना से बाहर या विदेश की मिलती थी. इसके अलावा लोकेशन भारत के अन्य राज्याें की दिखती थी.
जबकि वह पटना में ही रहता था. मुचकुंद के अलावा अन्य अपराधी भी अब नेपाल के इंटरनेशनल सिम व वॉयस ओवर इंटरनेट प्रोटोकॉल (वीओआईपी) का उपयोग करते हैं और रंगदारी मांगते हैं. बताया जाता है कि इस तकनीक का उपयोग करने पर पुलिस को अपराधियों का लोकेशन निकालने में परेशानी होती है.
इस तरह भी अपराधी लेते हैं मोबाइल नंबर
बताया जाता है कि अपराधी गूगल की मदद से कुछ ऐसे एप्लीकेशन डाउनलोड करते हैं और उनकी मदद से दूसरे देश का नंबर लेते हैं. इन एप्लीकेशनों की मदद से मोबाइल नंबर खरीदने का एक नंबर का 3000 रुपये तक आता है.
वहीं कुछ ऐसे एप्लीकेशन भी हैं, जिनसे फ्री में मोबाइल नंबर मिल जाता है. इसके लिए फर्जी नाम व मोबाइल नंबर पर जीमेल अकाउंट बनाया जाता है और फिर उक्त अकाउंट व पासवर्ड की जानकारी केवल अपराधी को होती है.
वह उस जीमेल अकाउंट पर ही उक्त मोबाइल नंबरों को मंगवाता है और फिर उसकी मदद से इंटरनेट कॉलिंग कर धमकी दी जाती है. इस नंबर से वाट्सअप भी बना लिया जाता है और फिर वाट्सअप कॉलिंग कर धमकी दी जाती है.
बहादुर पुलिसकर्मियों को मिले वीरता मेडल : मृत्युंजय सिंह
बिहार पुलिस एसोसिएशन ने पचास हज़ार के इनामी कुख्यात अपराधी मुचकुंद को मार गिराने वाले बिहार के बहादुर पुलिसकर्मी को पुरस्कृत करने की मांग की है. एसोसिएशन के अध्यक्ष मृत्युंजय कुमार सिंह ने मुचकुंद का इनकाउंटर करने वाले पुलिसकर्मी को बधाई दी है.
कहा है कि पुलिस अपराधियों की गोली का जवाब गोली से देगी. इससे अपराध मुक्त बिहार होगा. बिहार के जंबाज पुलिस को बिहार सरकार और पुलिस मुख्यालय पुरस्कृत करे.

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