मध्यप्रदेश के शहडोल जिले में एक ओझा द्वारा उपचार के नाम पर कथित तौर पर कई बार गर्म लोहे की छड़ से दागे जाने की वजह से तीन माह की एक और बच्ची की मौत हो गई. पिछले चार दिन के अंदर इस ओझा द्वारा उपचार के नाम पर कई बार गर्म लोहे की छड़ से दागे जाने की वजह से दो मासूम बच्चियों की मौत हो चुकी है.
महिला ओझा के खिलाफ मामला दर्ज
बच्चियों की मौत के बाद जिले की सिंहपुर पुलिस ने 40 वर्षीय एक महिला ओझा के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है. सिंहपुर पुलिस थाना प्रभारी एम पी अहिरवार ने बताया, गर्म लोहे की सरिया से दागने से 2 शिशुओं की मौत के मामले में पुलिस ने सामतपुर निवासी रमबतिया चर्मकार (40) के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है. उन्होंने कहा कि अभी आरोपी महिला की गिरफ्तारी नहीं हुई है.
बच्ची को 20 जगह पर गर्म लोहे के छड़ से दागा गया था
शहडोल के मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी (सीएमएचओ) डॉ आर एस पाण्डेय ने बताया कि सिंहपुर थाना क्षेत्र अंतर्गत सामतपुर निवासी सूरज कोल की तीन माह की बच्ची शुभी कोल को निमोनिया होने के बाद एक ओझा द्वारा लोहे के गर्म सरिया से शरीर में 20 जगह दाग दिया गया था. उन्होंने कहा कि उसे बुधवार को बिरसा मुंडा मेडिकल कॉलेज में भर्ती किया गया था लेकिन शुक्रवार को परिजन इस बच्ची को लेकर निजी अस्पताल चले गए थे. पाण्डेय ने बताया कि शनिवार शाम को इस बच्ची की मौत हो गई है.
ढाई माह की बच्ची को 50 से अधिक बार गर्म लोके के छड़ से दागा गया, मौत
इससे पहले सिंहपुर थाना क्षेत्र के ही ग्राम कठौतिया निवासी रोशनी कोल की ढाई माह की बच्ची रुचिका कोल की भी एक ओझा द्वारा उपचार के नाम पर 50 से अधिक बार गर्म लोहे की छड़ से दागे जाने की वजह से बुधवार को मौत हुई थी.
दोषियों के खिलाफ की जाएगी बड़ी कार्रवाई : प्रियांक कानूनगो
एनसीपीसीआर प्रमुख प्रियांक कानूनगो ने कहा, हमें एमपी से शिकायत मिल रही है कि एक बच्चे को इलाज के नाम पर गर्म लोहे की रॉड से दागा गया. आयोग ऐसी प्रथाओं के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करता है. हम एक नोटिस जारी कर रहे हैं और हम यह सुनिश्चित करेंगे कि दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाए.
पोस्टमार्टम रिपोर्ट में बच्ची की मौत का सामने आया सच
एक अधिकारी ने बताया कि प्रारंभिक जांच में पता चला है कि बच्ची की मौत निमोनिया के कारण हुई, लेकिन मौत के असली कारणों का पता पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद चल पाएगा.
क्या है मामला
बताया जा रहा है कि आदिवासी बहुल जिले के सिंहपुर थाना क्षेत्र के कठौतिया की रहने वाली बच्ची की मां ने कहा कि परिवार वाले पहले बीमार बेटी को झोलाछाप डॉक्टर के पास ले गए, लेकिन उसकी हालत में सुधार नहीं हुआ. बाद में परिवार ने एक महिला से संपर्क किया, जिसने बच्ची के इलाज के लिए 51 बार गर्म लोहे की छड़ से उसके शरीर को दागा. मृत बच्ची की मां ने बताया कि बच्ची की हालत बिगड़ने पर उसे जिला अस्पताल ले जाया गया, जहां से उसे शहडोल मेडिकल कॉलेज रेफर कर दिया गया. उन्होंने बताया कि इलाज के दौरान बच्ची की मौत हो गयी जिसके बाद परिजनों ने बच्ची के शव को दफना दिया.