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40 विभिन्न तरह की कैंसर समस्याओं को जन्म देता है तंबाकू

कोरोना संक्रमण काल में जब हम इस बीमारी से बचने के उपाय खोज रहे हैं, हमें दूसरी गंभीर बीमारियों से भी हिफाजत करनी होगी. और इनमें तंबाकू सेवन से होने वाली बीमारियां भी शामिल हैं. अमूमन खैनी, पान मसाला व गुटखा सहित सिगरेट आदि की आदत या तो घर के बड़े बुजुर्ग को देखने के साथ शुरू होती है या फिर पीयर ग्रुप यानी साथी सहपाठी से.

आज विश्व तंबाकू निषेध दिवस है

गया : कोरोना संक्रमण काल में जब हम इस बीमारी से बचने के उपाय खोज रहे हैं, हमें दूसरी गंभीर बीमारियों से भी हिफाजत करनी होगी. और इनमें तंबाकू सेवन से होने वाली बीमारियां भी शामिल हैं. अमूमन खैनी, पान मसाला व गुटखा सहित सिगरेट आदि की आदत या तो घर के बड़े बुजुर्ग को देखने के साथ शुरू होती है या फिर पीयर ग्रुप यानी साथी सहपाठी से.

किशोरों में तंबाकू की आदत प्रयोग से शुरू होती है और धीरे-धीरे लत में तब्दील हो जाती है. उन्हें ऐसी लत से छुटकारा मुश्किल लगता है लेकिन दृढ़ निश्चय कर ऐसी आदतों से हमेशा के लिए दूर किया जा सकता है. स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के टॉल फ्री नंबर 1800 1123 56 पर फोन कर तंबाकू छोड़ने के लिए आवश्यक जानकारी व परामर्श भी ले सकते हैं.

लोगों को तंबाकू की आदत से छुटकारा दिलाने और उसके गंभीर परिणामों के बारे में जागरूक करने के उद्देश्य से 31 मई को विश्व तंबाकू निषेध दिवस मनाया जाता है. तंबाकू से करीब 40 प्रकार के कैंसर होते हैं. इनमें मुंह का कैंसर, गले, फेफड़े, प्रोस्टेट व पेट के कैंसर सहित और ब्रेन ट्यूमर जैसे मर्ज शामिल हैं. तंबाकू में मौजूद निकोटीन का सेवन थोड़ी देर के लिए आपको अच्छा महसूस करने जैसा आभास तो जरूर देता है लेकिन लंबे समय तक इसका उपयोग हृदय, फेफड़ों व पेट के साथ तंत्रिका तंत्र को बहुत अधिक प्रभावित करता है.

धूम्रपान सांस उखड़ने व हांफने जैसी समस्या सहित उच्च रक्तचाप व डिमेंशिया की भी वजह बनता है. तंबाकू सेवन जनस्वास्थ्य के लिए बड़ा खतराराज्य सरकार ने इस दिशा में आवश्यक निर्देश जारी किया हैं जिसमें कहा गया है कि तंबाकू का सेवन जनस्वास्थ के लिए बड़े खतरों में से एक है. जहां तहां थूकने की आदत संचारी रोगों को फैलाने का एक प्रमुख कारण है. थूकने के कारण गंभीर बीमारियां जैसे कोविड 19, यक्ष्मा व अन्य संक्रामक बीमारियों के फैलने की प्रबल संभावना रहती है. तंबाकू पान मसाला आदि सेवन करने वाले लोग गंदगी फैलाकर वातावरण दूषित करते हैं. स्वास्थ्य एंव परिवार कल्याण मंत्रालय ने भी धुंआ रहित तंबाकू पदार्थ के प्रयोग तथा सार्वजनिक स्थल पर न थूकने की अपील की है.

तंबाकू निषेध संबंधी नियमों की भी रखें जानकारी

  • – तंबाकू का सेवन कर जहां तहां थूकने वालों के लिए भारतीय दंड संहिता की धारा 268 या 269 के तहत छह माह का कारावास या 200 रुपये जुर्माना या दोनों की सजा का प्रावधान है.

  • – सिगरेट या अन्य तंबाकू उत्पादन अधिनियम 2003 की धारा 4 के अनुसार सभी सार्वजनिक स्थलों पर धूम्रपान प्रतिबंधित है. प्रतिबंधित स्थलों पर धूम्रपान निषेध का उल्लंघन करने पर दंड स्वरूप 200 रुपये तक का जुर्माना लगाने का प्रावधान है.

  • – एपीडेमिक डिजीज एक्ट 1897 के अंतर्गत द बिहार एपीडेमिक डिजीज कोविड 19 रेगुलेशन 2020 के तहत प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए जनस्वास्थ्य की रक्षा के लिए राज्य के सभी सार्वजनिक स्थलों जैसे रोड, गली, सरकारी व गैर सरकारी कार्यालय परिसर, सभी स्वास्थ्य संस्थान परिसर, सभी शैक्षणिक संस्थान परिसर तथा सभी थाना परिसर इत्यादि में किसी भी प्रकार का तंबाकू पदार्थ या सिगरेट, बीड़ी, गुटखा, पान मसाला व जर्दा इत्यादि का उपयोग कर जहां तहां थूकने पर प्रतिबंध लगाया गया है.

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