13.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

बारिश से पहले ही गंगा कटाव रोकने पर जोर

मालदा. बारिश का मौसम शुरू होने को है. इसके साथ ही मालदा जिले के कालियाचक तीन नंबर ब्लॉक के अधीन गंगा नदी के किनारे बसे गांव के लोगों की चिंता भी बढ़ गई है. यह इलाका गंगा कटाव प्रभावित है. पिछले साल गंगा की कटाव में कई गांव बह गये थे. यहां तक कि वैष्णवनगर […]

मालदा. बारिश का मौसम शुरू होने को है. इसके साथ ही मालदा जिले के कालियाचक तीन नंबर ब्लॉक के अधीन गंगा नदी के किनारे बसे गांव के लोगों की चिंता भी बढ़ गई है. यह इलाका गंगा कटाव प्रभावित है. पिछले साल गंगा की कटाव में कई गांव बह गये थे. यहां तक कि वैष्णवनगर के विधायक का भी कुछ नहीं बचा. वह भी गंगा के गर्भ में अपनी जमीन तथा पूरा घर गंवा चुके हैं. ऐसी परिस्थिति में प्रशासन ने अभी से ही गंगा कटाव को रोकने की तैयारी शुरू कर दी है.

इस बार हालांकि तरीका थोड़ा बदला हुआ है. प्रशासन ने प्राकृतिक तरीके से गंगा के कटाव को रोकने की तैयारी की है. नदी के किनारे एक विशेष प्रकार के घास लगाये जा रहे हैं. प्रशासन का मानना है कि इस घास से जमीन मजबूत होगी और कटाव संभव नहीं होगा. हालांकि इलाकाई लोग प्रशासन के इस दावे पर भरोसा नहीं कर पा रहे हैं. यह लोग अभी से ही गंगा कटाव को लेकर काफी चिंतित हैं. प्रशासनिक सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, मालदा जिले के अधीन 146 ग्राम पंचायतों में से 22 ग्राम पंचायत गंगा कटाव प्रभावित है.

गंगा नदी मूल रूप से कालियाचक दो एवं तीन, इंगलिश बाजार तथा मानिकचक ब्लॉक होकर गुजरी है. पिछले कुछ वर्षों से कालियाचक तीन नंबर ब्लॉक इलाके में गंगा नदी में काफी तबाही मचायी है. पिछले साल ही इस इलाके के हजारों घर गंगा में बह गये थे. सैकड़ों बीघा जमीन को भी गंगा ने लील लिया है. स्थानीय लोग शुरू से ही नदी कटाव की समस्या के स्थायी समाधान की मांग कर रहे हैं. इनका कहना है कि यदि शीघ्र ही गंगा नदी के क्रोध को रोकने की कारगर कार्रवाई नहीं की गई, तो सबकुछ तबाह हो जायेगा. कालियाचक तीन नंबर ब्लॉक के अधिकारी दुलालचंद सरकार ने बताया है कि यहां 14 पंचायतों में से सात पंचायत गंगा के किनारे है. इसमें से तीन पंचायत गंगा कटाव प्रभावित है.

खासकर वीरनगर-1, लक्ष्मीपुर, कृष्णपुर एवं पारदेवानपुर के शोभापुर इलाके में हर साल ही गंगा से तबाही मचती है. हाल ही में गंगा कटाव को रोकने के लिए फरक्का में आयोजित एक कार्यशाला में अधिकारियों को एक विशेष प्रजाति के घास से गंगा कटाव को रोकने की जानकारी दी गई थी. श्री सरकार ने आगे कहा कि इस घास की जड़ें जमीन के काफी नीचे तक जाती है. यह मिट्टी को पकड़ कर रखता है. जिला प्रशासन के सहयोग से वीरनगर दो ग्राम पंचायत इलाके में इस घास की चार नर्सरी बनायी गई है. स्वनिर्भर समूह की महिलाएं इन नर्सरियों की देखरेख कर रही हैं. इसके अलावा लक्ष्मीपुर ग्राम पंचायत के खेजुरिया घाट इलाके में गंगा नदी के किनारे इस घास को लगाने का काम भी शुरू हो गया है.

इस पर दो लाख 55 हजार रुपये खर्च किये जायेंगे. आने वाले दिनों में विभिन्न नर्सरियों के इस घास को कटाव प्रभावित दूसरे इलाके में भी लगाया जायेगा. इधर, इस संबंध में जिला पंचायत एवं ग्रामोन्नयन अधिकारी सुकांत साहा ने भी बताया है कि कटाव प्रभावित इलाकों में विशेष किस्म की घास लगाने की तैयारी शुरू कर दी गई है. 100 दिन रोजगार योजना के तहत यह काम हो रहा है. इस बीच, गंगा कटाव के करीब तीन किलोमीटर इलाके में इस घास को लगा दिया गया है. आने वाले दिनों में और भी कई स्थानों पर इस प्रकार के घास लगाये जायेंगे.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें