जीआरएसई के चेयरमैन व मैनेजिंग डायरेक्टर रियर एडमिरल एके वर्मा ने बताया कि जीआरएसई को मिलनेवाला यह अब तक का सबसे बड़ा ऑर्डर है. एडमिरल वर्मा ने कहा कि नौसेना का यह ऑडर्र यह दर्शाता है कि सरकार और नौसेना हम पर कितना भरोसा करते हैं. यह हमारे लिए एक बहुत सम्मान व गर्व की बात है.
जीआरएसई की 56 वीं वर्षगांठ से पहले मीडिया से रूबरू हुए एडमिरल वर्मा ने कहा कि दुश्मन के रडार से भी बच निकलने वाले इन तीन एडवांस स्टील्थ फ्रिगिट को प्रोजेक्ट-17 अल्फा के तहत तैयार किया जायेगा. इसके साथ ही जीआरएसई फिलिपिंस की नौसेना के लिए दो युद्धपोत तैयार करने के लिए जारी किये गये ग्लोबल टेंडर में भी हिस्सा ले रहा है. जीआरएसई भारतीय नौसेना के लिए 15 जहाज तैयार कर रहा है, जि2समें तीन एएसडब्लू कार्वेट, आठ लैंडिंग क्राफ्ट यूटिलिटी शिप एवं चार वाटर जेट फास्ट अटैक क्राफ्ट शामिल हैं. उन्होंने बताया कि 2007-08 से 2014-15 तक जीआरएसई का कारोबार तीन गुणा बढ़ कर 1665 करोड़ तक पहुंच गया है. 2007-08 में संस्था ने 573 करोड़ का व्यवसाय किया था.