उसकी जानकारी कोर्ट में प्रस्तुत की जाये. मामले की अगली सुनवाई चार सप्ताह के बाद होगी. सुनवाई के दाैरान गृह विभाग के अपर मुख्य सचिव एनएन पांडेय उपस्थित थे. इससे पूर्व सरकार की अोर से 17 नवंबर 2011 के बाद नियुक्त चाैकीदारों की जानकारी दी गयी. बताया गया कि तीन साै से अधिक चाैकीदारों को उपायुक्तों के माध्यम से नोटिस दी गयी है.
सरकार के जवाब पर एमीकस क्यूरी अधिवक्ता मनोज टंडन ने विरोध किया. उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद कितने नियुक्त हुए, उसकी जानकारी दी जानी चाहिए. सुप्रीम कोर्ट ने वंशवाद के आधार पर नियुक्ति नहीं करने का आदेश दिया था. राज्य सरकार की अोर से विशेष अधिवक्ता राजीव रंजन ने पक्ष रखा.
मालूम हो कि प्रार्थी जगदानंद महतो एवं अन्य की अोर से अपील याचिका दायर की गयी थी. इसमें कहा गया था कि अन्य चाैकीदारों की तरह उन्हें भी नियुक्त किया जाये. हाइकोर्ट ने अपील की सुनवाई के बाद उसे खारिज कर दिया.