9.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

बातचीत की शरीफ की कोशिश नाकाम

-नहीं माने इमरान खान एजेंसियां, इसलामाबाद प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की इमरान खान और ताहिर-उल-कादरी के साथ गतिरोध खत्म करने की कोशिश सोमवार को नाकाम रही, क्योंकि शरीफ विरोधी प्रदर्शनकारी राजधानी में भयावह स्थिति पैदा कर रहे हैं. वहीं, शरीफ के इस्तीफे की मांग पांचवें दिन भी जारी रही. इमरान खान की तहरीक-ए-इंसाफ और कादरी की […]

-नहीं माने इमरान खान एजेंसियां, इसलामाबाद प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की इमरान खान और ताहिर-उल-कादरी के साथ गतिरोध खत्म करने की कोशिश सोमवार को नाकाम रही, क्योंकि शरीफ विरोधी प्रदर्शनकारी राजधानी में भयावह स्थिति पैदा कर रहे हैं. वहीं, शरीफ के इस्तीफे की मांग पांचवें दिन भी जारी रही. इमरान खान की तहरीक-ए-इंसाफ और कादरी की पाकिस्तान अवामी तहरीक की सभी सांवैधानिक मांगों पर चर्चा की सरकार की पेशकश के प्रति दोनों प्रदर्शनकारी संगठनों ने सकारात्मक प्रतिक्रिया नहीं दी. कादरी के प्रतिनिधि ने बताया कि खान के प्रतिनिधियों ने वार्ता को लेकर दो समितियों के गठन के सरकार के आह्वान पर प्रतिक्रिया नहीं दी. धर्मगुरु ने भी प्रस्ताव को खारिज कर दिया. दोनों संगठनों के नेतृत्व से अलग-अलग वार्ता के लिए सरकार द्वारा दोनों समितियों की संरचना की आज बाद में घोषणा किये जाने की उम्मीद है. वार्ता में उनकी मांगें सुनी जायेंगी. उन्हें प्रदर्शन खत्म करने के लिए मनाया जायेगा. जिसने इसलामाबाद का जन जीवन अस्त व्यस्त कर दिया है. इमरान खान ने रविवार को नवाज शरीफ सरकार के खिलाफ सविनय अवज्ञा आंदोलन की घोषणा करते हुए कहा था कि पाकिस्तान का भविष्य इस कारोबारी के शासन में अंधेरे में हैं.खान ने कर, बिजली बिल और गैस बिल देने से मना किया : इमरान खान ने भाषण देते हुए समर्थकों से कहा,’मैंने आपके लिए सविनय अवज्ञा आंदोलन का आह्वान किया है न कि अपने लिए. हम कर, बिजली या गैस बिल अदा नहीं करेंगे.’ उनकी टिप्पणी शरीफ की ओर थी, जो पाकिस्तान के सर्वाधिक धनी लोगों में शामिल हैं. इत्तेफाक ग्रुप के मालिक हैं. पाकिस्तान में राजनीतिक अस्थिरता ऐसे वक्त में आयी है जब पाकिस्तान अफगान सीमा पर आतंकियों के खिलाफ अभियान चला रहा है. कमजोर पड़ रहा आंदोलन :सरकार विरोधी प्रदर्शन सोमवार को कमजोर पड़ता दिखा, क्योंकि खान का आजादी मंच और कादरी का क्रांति मार्च बड़ी संख्या में भीड़ जुटाने में नाकाम रहा, जितना कि दोनों नेताओं को उम्मीद थी. विपक्षी पार्टियों ने भी खान के आंदोलन से सोमवार को दूरी बना ली.क्या कहते हैं दूसरे नेता :”लोकतंत्र और मुल्क की सेवा न तो सविनय अवज्ञा का आह्वान कर हो सकती है ना ही राजनीतिक मुद्दे पर सार्थक वार्ता में शामिल होने के किसी पक्ष के इनकार करने से आसिफ अली जरदारी, पूर्व राष्ट्रपति ”यह असमय है. प्रदर्शनकारियों की हताशा दिखाता है.यह पाकिस्तान के कारोबारी समुदाय को भी नुकसान पहुंचायेगा. हसन अक्सरी रिजवी, राजनीतिक समीक्षक” विरोध का यह तरीका गलत है, पाकिस्तान में यह नहीं चलेगा. लियाकत बलूच, महासचिव, जमात-ए-इसलामी सुप्रीम कोर्ट ने सरकार से झाड़ा पल्ला :इसबीच, सुप्रीम कोर्ट ने राजधानी इसलामाबाद के रेड जोन की ओर बढ़ रहे प्रदर्शनकारियों को रोकने की नवाज शरीफ सरकार की याचिका खारिज कर दी है. चीफ जस्टिस नसीरुल मुल्क ने कहा,’यह कुछ ऐसा है जिससे सरकार को निपटना है.’

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें