इसके बाद जसीडीह इंस्पेक्टर सह थाना प्रभारी विनोद कुमार सदलबल मौके पर पहुंचे और 80 बंद सर्मथकों को गिरफ्तार कर लिया. इन्हें अस्थायी जेल जसीडीह मध्य विद्यालय में रखा गया. जहां सभी प्रक्रिया के बाद शाम में उन्हें जमानत पर छोड़ा गया. बंद समर्थकों में झामुमो के प्रखंड अध्यक्ष विपीन यादव, केंद्रीय समिति सदस्य सरोज कुमार सिंह, जिला सचिव संजय शर्मा, श्रीसिंह, संतोष सिंह, प्रखंड उपाध्यक्ष मकसूद आलम, कृष्ण कांत गुप्ता, संजू मुर्मू, मो शमीम, कुलदीप बर्णवाल, भुनेश्वर महतो, नरेश मुर्मू, गोपाल मुर्मू, कमल शर्मा बिनोद मंडल समेत दर्जनों कार्यकर्ता थे. जेडीयू के सुबोध राय, गोबिंद दास, विकेस सिंह, जेवीएम के अरविंद राय, दिनेश्वर यादव, गुलाब यादव, पिंटू राय, भाकपा माले के दशरथ पंडित, नरेश प्रसाद तांती, शंकर यादव, गोपाल पंडित, सुनील यादव, सुनील यादव, रसुल मियां, रोहित दास, पांचु दास समेत अन्य मौजूद थे.
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जसीडीह : घंटों आवागमन बाधित 80 बंद समर्थक गिरफ्तार
जसीडीह : सीएनटी-एसपीटी एक्ट में संशोधन के खिलाफ में शुक्रवार को विपक्ष के बंद का असर जसीडीह में भी देखा गया. झामुमो, झाविमो, राजद, जदयू व भकपा माले के कार्यकर्ताओं ने जसीडीह बाजार को बंद कराते हुए चकाई मोड़ को घंटों जाम कर अावागमन बाधित कर दिया. इस दौरान झारखंड सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन […]
जसीडीह : सीएनटी-एसपीटी एक्ट में संशोधन के खिलाफ में शुक्रवार को विपक्ष के बंद का असर जसीडीह में भी देखा गया. झामुमो, झाविमो, राजद, जदयू व भकपा माले के कार्यकर्ताओं ने जसीडीह बाजार को बंद कराते हुए चकाई मोड़ को घंटों जाम कर अावागमन बाधित कर दिया. इस दौरान झारखंड सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करते हुए नारेबाजी की. बंद समर्थकों ने कहा कि सीएनटी-एसपीटी एक्ट से ही हम झारखंडियों की पहचान है.
यह अधिनियम हमें सुरक्षित व संरक्षित करती है. इसके बावजूद झारखंड सरकार षडयंत्र के तहत अधिनियम के साथ छेड़छाड़ कर रही है, जो क्षेत्र के आदिवासी व मूलवासियों के हित में नहीं है. उन्होंने कहा कि इस एक्ट में संशोधन कर गरीब आदिवासियों की जमीन को मामूली राशि देकर कॉरपोरेट घराने को सौंपने की तैयारी की जा रही है. बंद के दौरान वाहनों के नहीं चलने से आमलोगों को काफी परेशानी हुई. जाम के कारण जसीडीह मुख्य स्थल पर जाम होने से यात्रियों को पैदल स्टेशन तक जाना पड़ा.
जसीडीह स्टेशन पर तैनात रही रेल पुलिस
बंद को देखते हुए जसीडीह स्टेशन पर विधि-व्यवस्था बनाये रखने के लिए पर्याप्त इंतजाम किये गये थे. रेल पुलिस को स्टेशन पर तैनात देखा गया. आरपीएफ इंस्पेक्टर डीके पांडेय ने बताया कि बंदी को लेकर रेलवे सुरक्षा व्यवस्था की ओर से कड़ी चौकसी बरती गयी थी. उन्होंने बताया कि रेल पुलिस किसी भी परिस्थति से निबटने के लिए तैयार थी. जानकारी के अनुसार, रेल सुरक्षा बल आसनसोल के वरीय अधिकारी के आदेश पर पुलिस पदाधिकारी की तैनाती की गयी थी. साथ ही इसकी निगरानी भी वरीय अधिकारी कर रहे थे.
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