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छठव्रतियों के लिए आस्था का केंद्र है हजही पोखर

हाजीपुर : ऐतिहासिक सूर्य पोखर, जिसे हजही पोखर के नाम से भी जाना जाता है. महापर्व छठ व्रतियों के लिए आस्था का केंद्र है, जिसकी हालत दयनीय है. प्रशासनिक उदासीनता का आलम यह है कि महापर्व में मात्र कुछ दिन ही शेष बचे हैं लेकिन न तो उसकी सफाई हुई है और न ही पोखर […]

हाजीपुर : ऐतिहासिक सूर्य पोखर, जिसे हजही पोखर के नाम से भी जाना जाता है. महापर्व छठ व्रतियों के लिए आस्था का केंद्र है, जिसकी हालत दयनीय है. प्रशासनिक उदासीनता का आलम यह है कि महापर्व में मात्र कुछ दिन ही शेष बचे हैं लेकिन न तो उसकी सफाई हुई है और न ही पोखर में पूर्ण रूप से पानी है.

सामाजिक सेवा संस्थान नवचेतना क्लब के अध्यक्ष रामवीर चौरसिया ने जिलाधिकारी को आवेदन देकर जल श्रोत की जानकारी देते हुए पानी की संपूर्ण व्यवस्था के अलावा प्रशासनिक स्तर पर साफ-सफाई कराये जाने की मांग की है.

अर्घ अर्पित करने की सदियों पुरानी है परंपरा : जढ़ुआ बड़ई टोला स्थित ऐतिहासिक सूर्य पोखर पर सदियों से क्षेत्र के आसपास के इलाके के लोग महापर्व छठ के अवसर पर सूर्य को अर्घ समर्पित करते हैं. पोखर पर प्रदेश भर से लोग हाजीपुर छठ को लेकर आते हैं. इस अवसर मेले-सा दृश्य रहता है.
ऐतिहासिक रूप से प्रसिद्ध है : सूर्य पोखर सात एकड़ क्षेत्र में फैला हुआ है. कब से यहां लोग सूर्योपसना के लिए आते हैं लोग ठीक से नहीं बता पाते, लेकिन इतना जरूर कहते हैं कि यह सदियों पुराना स्थल है. पोखर पर दर्जनों गांव के लगभग 12 से 15 हजार श्रद्धालु पहुंचते हैं. प्रत्येक वर्ष नगर पर्षद एवं संस्था के सदस्य पहुंच पथ से लेकर घाट तक की साफ -सफाई करते थे, जो अभी तक नहीं हुई है.
पूर्व में भी समस्या को लेकर दिया गया है आवेदन : संस्था ने समस्या को लेकर पूर्व में भी आवेदन दिया था, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई है. पोखर में पानी काफी कम है, जिसमें व्रतियों को परेशानी हो सकती है. जल्द ही कुछ नहीं किया गया तो परंपरा के टूटने का खतरा उत्पन्न हो सकता है. स्थानीय लोग लगातार प्रयास करते रहे हैं कि इसका सौंदर्यीकरण हो, लेकिन नगर पर्षद के आश्वासन के बाद भी इस पर अमल नहीं हो सकी है.
जलश्रोत के लिए दिया गया सुझाव : पोखर में पानी भरने का श्री चौरसिया व स्थानीय लोगों ने प्रशासन को दो श्रोतों का सुझाव दिया है. पहला सुझाव है कि पोखर से 25 सौ मीटर पर पानी टंकी है. पोखर से पानी टंकी तक सिवरेज का पाइप लाइन बिछी है, जिसके सहारे टंकी से पानी पोखर में पहुंचाया जा सकता है. दूसरा सुझाव है पोखर से एक हजार मीटर पर कंपनी का पेप्सी प्लांट है, जिसे नहर द्वारा भी पानी पोखर में लाया जा सकता है. लोगों ने जिला पदाधिकारी से नगर पर्षद को आवश्यक निर्देश देने का आग्रह किया है.
क्या कहते हैं संस्था अध्यक्ष
पोखर से हजारों परिवार की आस्था जुड़ी है. बड़ी संख्या लोग अर्घ अर्पित करते हैं. जिलाधिकारी को आवेदन दिया है कि पोखरा की साफ-सफाई व पानी का प्रबंध किया जा सके. नगर पर्षद द्वारा पोखर के सौंदर्यीकरण का आश्वासन मिला है. सौंदर्यीकरण से नगर के लोग लाभान्वित होंगे.
रामवीर चौरसिया

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